मांगों के समर्थन में लेखपालों का धरना, प्रदर्शन
सहारनपुर : पिछले डेढ़ माह से तहसील व समाधान दिवस का बहिष्कार कर रहे लेखपाल संघ ने जिला मुख्यालय पर ध
सहारनपुर : पिछले डेढ़ माह से तहसील व समाधान दिवस का बहिष्कार कर रहे लेखपाल संघ ने जिला मुख्यालय पर धरना प्रदर्शन कर जिला प्रशासन के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा।
हकीकत नगर स्थित धरना स्थल पर प्रदर्शन कर रहे लेखपालों को संबोधित करते हुए मंडल के खंड मंत्री रणधीर शर्मा ने कहा कि उत्तर प्रदेश से अलग होकर बने उत्तराखंड राज्य में लेखपालों को प्रारंभिक वेतनमान ग्रेड पे 2800 रुपए दिया जा रहा है, जबकि उत्तर प्रदेश में उक्त वेतनमान 16 वर्ष की सेवा पूर्ण होने पर दिया जा रहा है। यही नहीं प्रदेश में लेखपालों का नियत भत्ता व स्टेशनरी भत्ता भी अन्य राज्यों के सापेक्ष बहुत कम है। संवर्ग में पदोन्नति व्यवस्था पूर्व में 9 फीसदी थी अब इसे घटाकर पांच फीसदी कर दिया गया है।
लेखपाल संघ के जिलाध्यक्ष अरविंद पुंडीर ने कहा कि प्रदेश में लेखपालों के 30 फीसदी तथा जनपद में 89 पद रिक्त हैं। राजस्व निरीक्षक व रजिस्ट्रार कानूनगो के अलावा भूलेख लिपिक के पद भी रिक्त हैं। यही कारण है सरकारी योजनाओं के क्रियान्वयन में बाधा आ रही है। जिला मंत्री मोहम्मद आसिफ खान ने कहा कि वर्तमान में एसीपी व्यवस्था से सर्वाधिक नुकसान प्रदेश के कनिष्ठ लिपिकों को हो रहा है, जो आगामी सातवें वेतन में और भी बढ़ जाएगा। इसलिए वेतन विसंगतियों को दूर किया जाए। धरने के उपरांत लेखपालों ने मांगों से संबंधित ज्ञापन जिला प्रशासन के माध्यम से मुख्यमंत्री को भेजा।
धरने पर समय सिंह, प्रवीण कुमार, शिवकुमार, अजय प्रताप, निरंजन सिंह, लक्ष्मी नारायण, जनक सिंह, यज्ञपाल सिंह, शेषराज सिंह, कुलदीप सिंह, अरविंद कुमार, शिवकुमार, मुकेश त्यागी, रामकिशन, राजेंद्र सैनी, अशोक सैनी, संजीव शर्मा आदि शामिल रहे।