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सपा और भाजपा पर बरसे छोटे चौधरी

मुजफ्फरनगर : चौधरी अजित ¨सह भूमि अधिग्रहण बिल, पुलिसभर्ती घोटाला, आपदा में किसानों द्वारा आत्महत्या

By Edited By: Published: Thu, 16 Apr 2015 12:28 AM (IST)Updated: Thu, 16 Apr 2015 12:28 AM (IST)
सपा और भाजपा पर बरसे छोटे चौधरी

मुजफ्फरनगर : चौधरी अजित ¨सह भूमि अधिग्रहण बिल, पुलिसभर्ती घोटाला, आपदा में किसानों द्वारा आत्महत्या करने आदि मामलों पर प्रदेश की सपा व केन्द्र की भाजपा सरकारों पर जमकर बरसे। उन्होंने कहा कि देश व सूबे में कानून नाम की कोई चीज नहीं है। फसल मुआवजे के नाम पर 100-150 रुपये का चेक देकर किसानों का मजाक उड़ाया जा रहा है।

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बुधवार को चौ. अजित ¨सह छोटूराम इंटर कालेज में पहुंचे। छोटे चौधरी के कालेज परिसर में पहुंचते ही उनका भव्य स्वागत हुआ। उन्होंने कहा कि वह किसी सभा को संबोधित करने नहीं आए हैं। वह किसानों का हाल जानने के लिए यहां आए हैं। अजित ने कहा कि देश व सूबे में कानून नाम की सरकार नहीं है। भाजपा व सपा आपदा पीड़ितों की मदद नहीं कर रहे हैं। 100-150 रुपये का चेक देकर किसानों का मजाक उड़ाया जा रहा है। केन्द्र व प्रदेश सरकार कह रही है कि भ्रष्टाचार मिटाना है, लेकिन किसी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हुई। किसानों को धोखा ही मिला। उन्होंने कहा कि जाट आरक्षण केन्द्र सरकार की कमजोर पैरवी से खत्म हुआ। उन्होंने कहा कि एकजुट होकर अपनी शक्ति को बढ़ाएं। गन्ना भुगतान के मामले में उन्होंने कहा कि एक भी चीनी मिल मालिक के खिलाफ कडी कार्रवाई नहीं हुई। सन 1978 में भी जब चौधरी चरण ¨सह प्रधानमंत्री बने, तब उन्होंने मिलों मालिकों से कहा था या तो भुगतान कर दो वरना राष्ट्रीयकरण करवा देंगे। मिलों ने तुरंत भुगतान करवा दिया था। जोत कम होने से नवयुवक गांव में जाना पसंद नहीं कर रहे हैं। चुनाव में मोदी ने कहा था कि मैं किस्मत वाला हूं। उनकी किस्मत तो ठीक हो गई, लेकिन सबकी किस्मत कैसी होगी, पता नहीं? प्रदेश की कानून व्यवस्था खराब है। इस कारण यहां कोई पूंजीपति पैसा नहीं लगाएगा, तब तक नवयुवकों को रोजगार नहीं मिलने वाला है। अध्यक्षता वेस्ट यूपी अध्यक्ष मुंशीराम पाल और संचालन जिलाध्यक्ष अजित राठी ने किया। अनेक बसपा कार्यकर्ताओं ने रालोद की सदस्यता ग्रहण की।

एम 1 'फायदे नहीं मौत का सौदा बनी खेती'

मुजफ्फरनगर: चौ. अजित ¨सह ने कहा कि किसान बदहाल है। कोई सपा नेता उसके घर तक नहीं गया। सरकारी अमला घर पर बैठकर मामूली धनराशि के चेक मदद के नाम पर बना रहा है। एक जमाने में खेती फायदे का सौदा था। अब किसान आत्महत्या कर रहे हैं तो यह मौत का सौदा बन गया है।

¨सचाई विभाग के डाक बंगले पर पत्रकारों से वार्ता करते हुए उन्होंने कहा कि सरकार को मुआवजा राशि कम से कम 25 हजार रुपये प्रति हेक्टेयर करनी चाहिए। कर्ज माफ करते हुए बिजली के बिलों को रोका जाना चाहिए। मुजफ्फरनगर में दंगा कराकर भाजपा व सपा ने भाईचारा खत्म कर दिया। भूमि अधिग्रहण मुद्दे पर भी उन्होंने केन्द्र सरकार को निशाने पर रखा। कटाक्ष किया कि अखिलेश यादव तो मात्र आधे मुख्यमंत्री हैं। मुलायम ¨सह यादव ने कुछ समय पूर्व सूबे के अधिकारियों को भ्रष्ट बताते हुए उनका टेप अपने पास होने की बात कही थी, लेकिन कुछ नहीं हुआ। पुलिस भर्ती घोटाले से स्पष्ट है कि चयनित अभ्यर्थियों में एक तरफ सैफई और दूसरी ओर सारा यूपी रहा। मोदी किसान के मन की नहीं बल्कि उद्योगपतियों के मन की बात करते हैं। वह पहले चाय पर चर्चा करते थे अब विदेश में जाकर नाव पर चर्चा करते हैं। प्रेस वार्ता में पूर्व सांसद मुंशीराम पाल, एमएलसी मुश्ताक चौधरी, अजित राठी, मुनिदेव शर्मा, चंदन चौहान, सुनील रोहटा, सुधीर भारतीय, कृष्णपाल राठी, हर्ष राठी व प्रवीण देशवाल आदि मौजूद रहे।


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