इस बार दस दिन के नवरात्र
जागरण संवाददाता, मुरादाबाद : पहली अक्टूबर से नवरात्र पर्व शुरू हो रहा है। इस बार नवरात्र दस दिन के
जागरण संवाददाता, मुरादाबाद :
पहली अक्टूबर से नवरात्र पर्व शुरू हो रहा है। इस बार नवरात्र दस दिन के हैं। जिसको काफी शुभ माना जा रहा है। अगले दस दिन तक मा के नौ स्वरूपों की पूजा की जाएगी। व्रत, पूजा पाठ का माहैल रहेगा। मा दुर्गा की भक्ति में डूबे भक्त उपवास करेंगे। कलश स्थापना के साथ पंडालों में बड़ी-बड़ी प्रतिमाएं स्थापित की जाएंगी। शक्ति की आराधना के लिए इस बार एक दिन अतिरिक्त मिला है। पंडित गजेंद्र जोशी के अनुसार पहली तारीख को सूर्योदय के साथ ही कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त शुरू हो रहा है। जो राहु काल को छोड़कर शाम छह बजे तक रहेगा। इसके बीच में 11:36 से दोपहर 12:24 बजे तक अभिजित मुहूर्त है। इसमें कलश स्थापना को अति शुभ माना जाता है। पहले दिन शैलपुत्री माता की आराधना की जाएगी। इस बाद द्वितीया दो दिन की है। दो और तीन अक्टूबर को माता ब्रह्माचारिणी की पूजा की जाएगी। पंडित केदार मुरारी बताते हैं कि दो अक्टूबर को सुबह 5:53 बजे द्वितीया तिथि लग जाएगी, जो अगले दिन सुबह 7:44 बजे तक रहेगी। सूर्योदय के बाद तिथि का समापन हो रहा है इसके चलते पूरे दिन यही तिथि मानी जाएगी। पुजारी ने बताया कि नवरात्र का एक दिन बढ़ना शुभ माना जा रहा है। यह सुख, शांति और समृद्धि का सूचक है।
-------
माता की आराधना में ये न करें
- दाढ़ी, मूंछ और बाल नहीं कटवाने चाहिए।
- नाखून भी पूरे नवरात्र में नहीं काटने चाहिए।
- कलश स्थापना वाले घर को कभी खाली नहीं छोड़ना चाहिए।
- घर में सात्विक भोजन ही बनाएं, लहसुन-प्याज का प्रयोग न करें।
- काले रंग के कपड़े पहनने से बचें।
-----
क्या करें
- प्रतिदिन मंदिर जाएं, माता का ध्यान करें और परिवार की खुशहाली की कामना करें।
- घर में साफ सफाई रखें, बाहर न जाना हो तो नंगे पैर ही रहें, साफ कपड़े पहनें।
- विज्ञान और भक्ति की दृष्टि से उपवास को महत्वपूर्ण माना गया है, इसलिए इसे रखना चाहिए।
- देवी माता का नए कपड़ों, फूलों की माला, हार और चोले से श्रृंगार करना चाहिए।
- अष्टमी के दिन विशेष पूजा करके कन्याओं को भोज कराएं।
- नवरात्र के दिनों में ब्रह्माचर्य का पालन करना अति आवश्यक है।