यहां खेले कोटे से नहीं होते प्रवेश
मुरादाबाद : खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करने की मंशा से एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय ने विद्यार्थियों के लिए कोटा निर्धारित कर रखा है। जिससे खिलाड़ियों को कॉलेज प्रवेश मिल सके। मगर, इस कोटे का लाभ खिलाड़ियों को नहीं मिल पा रहा है।
हिंदू कालेज प्रशासन का कहना है कि खेल कोटे से प्रवेश देने का अधिकार केवल विश्वविद्यालय को ही है। महानगर के अन्य डिग्री कॉलेजों की हालत भी ऐसी ही है। वहां से भी विद्यार्थियों को लौटा दिया जाता है कि खेल कोटे से उन्हें प्रवेश करने का अधिकार नहीं है। बाद में इन सीटों पर मनमर्जी से प्रवेश कर लिए जाते हैं।
खेल कोटे से जिस विद्यार्थी को प्रवेश लेना है, उसे राष्ट्रीय स्तर का खिलाड़ी होना चाहिए। वह अपने क्षेत्र के कॉलेज में जाकर विश्वविद्यालय को संबोधित एक एप्लीकेशन कॉलेज प्राचार्य को देगा। जिसे प्राचार्य विश्वविद्यालय को फारवर्ड करेगा। विवि की अनुमति के बाद प्रवेश मिलेगा।
प्रो. एके जेटली, क्रीड़ा सचिव, एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय
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खेल कोटे से प्रवेश देने का अधिकार हमें नहीं है। हमारे कॉलेज में खेल कोटे से कोई प्रवेश नहीं किया जाता है।
- डॉ. हेतराम सिंह, प्राचार्य, हिंदू कॉलेज
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मेरे पास कई बार ऐसे विद्यार्थी आए, जो राष्ट्रीय पर खेल चुके थे और हिंदू कॉलेज में प्रवेश चाहते थे। कई बार मैंने प्राचार्य व अन्य शिक्षकों से इस बारे में बात की, लेकिन किसी ने नहीं सुनी। जबकि खेल कोटे से कॉलेज में प्रवेश होता है।
- सत्यजीत प्रभाकर, प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य, एबीवीपी
यह है नियम :
स्नातक प्रथम वर्ष के कॉलेज में जितने कोर्स हैं या जितने विषय में विद्यार्थी स्नातक की पढ़ाई करते हैं। उन सभी में एक सीट खेल कोटे की रहती है।