करोड़ों की डिवाइस लुटने वाले इंजीनियरों के गिरोह का भंडाफोड़, आठ गिरफ्तार
रिलांयस जियो की यूनिट से करोड़ों की इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस लूटने वाले गिरोह का पर्दाफाश हो गया। सभी आरोपी सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं।
मेरठ (जेएनएन)। रिलांयस जियो की यूनिट से करोड़ों की इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस लूटने वाले गिरोह का पर्दाफाश हो गया। गिरोह रिलांयस जियो के फोर जी नेटवर्किंग माइक्रो डेटा एवं वाइस ट्रांसफर यूनिट से करोड़ों की डिवाइस लूटकर विदेश में ऑनलाइन बेच चुका है। पकड़े गए सभी आरोपी सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं जो कई बड़ी कंपनियों में काम कर चुके हैं। बदमाशों के कब्जे से रिलांयस की यूनिट से लूटी पौने दो करोड़ की डिवाइस भी बरामद कर ली गई हैं।
रिलायंस जिओ ने पेश किया सबसे सस्ता इंटरनेट
प्रेसवार्ता में आइजी सुजीत पांडेय ने बताया कि छह अगस्त को रिलांयस जियो इन्फोकॉम लिमिटेड के सरस्वती लोक स्थिति फोर जी नेटवर्क के डिजिटल नेटवर्किंग माइक्रो डेटा एवं वाइस ट्रांसफर यूनिट से करोड़ों की डिवाइस लूट ली गई थी। बदमाश खुद को कंपनी का अफसर बताकर यूनिट में प्रवेश कर गए और मशीनों से डिवाइस निकालने के बाद गार्ड को बंधक बनाकर डाल दिया। मामला लखनऊ तक गूंजा था।
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पुलिस की टीमों ने पड़ताल के बाद चंदन निवासी पटना बिहार, अपूर्व श्रीवास्तव निवासी जगदीशपुर अमेठी, पवन कुमार, संदीप कुमार निवासी गणेशनगर दिल्ली, उत्कर्ष जोशी निवासी सेक्टर बीस नोएडा, क्षितिज गुप्ता शकरपुर दिल्ली, देवेंद्र उर्फ रिंकू निवासी मंडावली, दिल्ली और भरत विशाल निवासी गैस गोदाम, बनारस को पकड़ा। गैंग का सरगना चंदन है, जो नेटवर्किंग कंपनी में काम कर चुका है। उसने दिल्ली में बीके भारती इंटरप्राइजेज कंपनी खोल ली, जिसके द्वारा अमेरिका में इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइस ऑनलाइन बेची गई। रकम भी कंपनी के एकाउंट में ही जमा की गई। अभी तक यह गिरोह आठ करोड़ की इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइस बेच चुका है।
गिरोह के सदस्यों ने बताया कि 12 नवंबर को अलीगढ़ में रिलायंस जियो की यूनिट लूट चुके हैं। उसके बाद एक जून को मथुरा की रिलायंस यूनिट को भी लूट लिया था। मध्य प्रदेश की ग्वालियर यूनिट को भी लूटा। अब तक लूटी हुई यूनिटों का सामान यूएसए में बेचा जा चुका है। बदमाशों की अगली योजना पल्लवपुरम की यूनिट लूटने की थी। उसके बाद मुजफ्फरनगर और बेंगलुरु की यूनिट में डिवाइस लूटने की योजना थी।