फ्लोरोसिस जांच को आई मशीन
जागरण संवाददाता, मथुरा: फ्लोराइड की बीमारी से पीड़ित जिले के चार दर्जन से अधिक गांवों में मीठे पान
जागरण संवाददाता, मथुरा: फ्लोराइड की बीमारी से पीड़ित जिले के चार दर्जन से अधिक गांवों में मीठे पानी का तो कोई इंतजाम नहीं हुआ, लेकिन फ्लोराइड की जांच को जिला अस्पताल में मशीन जरूर आ गई है। एक कंसलटेंट की भी तैनाती कर दी गई है। अब चिकित्सकों को ट्रे¨नग दी जाएगी। इसके बाद सीएमओ कार्यालय में लैब स्थापित कर फ्लोरोसिस के मरीजों की जांच कर बेहतर इलाज दिया जा सकेगा।
जिले में लोकसभा, विधानसभा, जिला पंचायत सदस्य, प्रधान, ब्लॉक प्रमुख, क्षेत्र पंचायत सदस्य आदि सभी चुनावों में गांव-गांव फ्लोराइड की बढ़ती मात्रा से निजात दिलाने का मुद्दा उठता है। प्रत्याशी लोगों से मीठा पानी उपलब्ध कराने का वादा करते हैं। लोकसभा चुनाव के दौरान मथुरा से भाजपा प्रत्याशी हेमामालिनी ने भी आरओ प्लांट लगवाने की बात कही थी। इसके बाद भी ग्रामीण अंचल के लोग मीठे पानी को तरस रहे हैं।
इधर, जलनिगम भी सरकार भरोसे बैठा है। अपनी ओर से उसके पास कोई कार्यक्रम या योजना नहीं है, जबकि एसीएमओ डॉ. दिलीप कुमार कहते हैं कि जिले के फरह ब्लॉक के अधिकांश गांवों के पानी में फ्लोराइड की मात्रा बढ़ी हुई है। छाता, मांट, बलदेव, गोवर्धन, राया, नौहझील, चौमुहां, नंदगांव में फ्लोराइड का कुप्रभाव बढ़ रहा है।
यहां होगा इलाज का इंतजाम
फरह के गांव बलरई बांगर, भाहई, लुहारा, थिरावली, जिरौली, भदेरुआ, भीमनगर, सलेमपुर और बलदेव के गांव दघैंटा, अवैरनी, गोकुल, जटौरा, राया के गजूं, खरबा, मांट के अररुआ बांगर, मथुरा के भदाल, कोसीखुर्द, चौमुहां के भरनाखुर्द, नौहझील के गांव सैदगढ़ी, नहारा में स्वास्थ्य विभाग फ्लोरोसिस प्रभावित लोगों के इलाज के लिए इंतजाम कर रहा है।