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भूकंप के कारण उत्तर प्रदेश में एक दर्जन की मौत, बड़ा नुकसान

नेपाल के केंद्र के कारण उत्तर प्रदेश में भूकंप के कारण बड़ा नुकसान हुआ है। सैकड़ों जगह पर मकानों तथा बहुमंजिला इमरतों में दरार पड़ गई है। कई जगह पर मकान तथा स्कूल की बिल्डिंग गिरने से दर्जनों लोगों की मौत होने की खबर है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Sat, 25 Apr 2015 03:43 PM (IST)Updated: Sat, 25 Apr 2015 03:45 PM (IST)
भूकंप के कारण उत्तर प्रदेश में एक दर्जन की मौत, बड़ा नुकसान

लखनऊ। नेपाल के केंद्र के कारण उत्तर प्रदेश में भूकंप के कारण बड़ा नुकसान हुआ है। सैकड़ों जगह पर मकानों तथा बहुमंजिला इमरतों में दरार पड़ गई है। कई जगह पर मकान तथा स्कूल की बिल्डिंग गिरने से दर्जनों लोगों की मौत होने की खबर है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भूकंप में मरने वालों के परिवार के लोगों को पांच-पांच लाख रुपये की सहायता राशि देने की घोषणा की है। भूकंप में घायलों को भी 20-20 हजार रुपये की मदद मिलेगी।

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कानपुर में भूकंप के झटके से सिवली के राठपुर में मकान ढह गया। इससे दो बच्चों की दबकर मौत हो गई। बच्चे स्कूल के घर लौटे थे। इसी बीच मकान गिर गया। बाराबंकी के बसंतापुर में एक घर का छज्जा गिरने से तीन लोगों की मौत हो गई। इस घर में काफी लोग शादी के कारण एकत्र थे। छज्जा गिरने के कारण दस लोग जख्मी हो गये हैं। इनमें से सात की हालत गंभीर है। जिलाधिकारी तथा एसपी मौके पर हैं। इसी क्षेत्र में एक स्कूल की बिल्डिंग गिरने के कुछ बच्चे चोटिल हो गये हैं।

गोरखपुर-बस्ती मंडल में भूकंप के झटके के दौरान दीवार व मकान गिरने से तीन जगह पर तीन लोगों की मौत हो गई है। गोरखपुर के गुलरिहा थानाक्षेत्र के ठाकुमरपुर नंबर दो में बजरंगी के अर्धनिर्मित मकान की दीवार गिरने से चारपाई पर सो रहे राज (2 वर्ष) पुत्र बजरंगी की मौत हो गई। गोरखपुर कूडाघाट में जस्ट टू क्राउन पब्लिक स्कूल के तीसरे मंजिल की छत गिरने से प्रधानाचार्य विवेक पांडेय, शिक्षिका सरोज देवी एवं बच्चे दबकर घायल हो गए। उन्हें लोगों ने छत के मलबे से निकालकर अस्पताल पहुंचाया। संतकबीरनगर जिले के मेहदावल क्षेत्र के कुडवा गांव में मकान गिरने से खूशबू (7) की मौत हो गई, जबकि कंचन (30) एवं उसकी बेटी किरन घायल हो गए हैं। गोरखपुर के गुलरिहा क्षेत्र के जंगल मोहमम्मद बरवां में कच्ची दीवार गिरने से 32 साल की महिला बासमती की मौत हो गई है। गाजीपुर में भूकंप के कारण निर्माणाधीन ओवरब्रिज में दरार आ गई है। रौजा ओवरब्रिज में भूकंप से दरार के कारण लोगो में दहशत है। रायबरेली झटकों से जिला अस्पताल की कुष्ट रोग बिल्डिंग में भी दरार आ गई है। इससे मरीजो में भय है। इलाहाबाद में भूकंप के झटके से झूंसी में मकान की दीवार गिरी। जिससे दो लोग घायल हो गये हैं। कौशांबी से कई निजी स्कूल की इमारतों में दरारें आ गई हैं। वाराणसी में दो में से एक बहुमंजिला इमारत टेढ़ी हो गई है।

लखनऊ में 40 साल बाद ऐसा भूकंप

आज लखनऊ दहल गया। भूकंप इतना प्रभावी था कि लोगों ने काफी देर तक इसे महसूस किया। बड़ी बिल्डिंग हिलती-डुलती नजर आई। यहां तक कि खड़ी हुई गाडिय़ां तक हिल रही थीं। भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण (जीएसआइ) के उपमहानिदेशक (उत्तरी क्षेत्र) सिद्धार्थ स्वरूप के अनुसार पहले भी लखनऊ भूकंप में ऐसे झटके महसूस किए जा चुके हैं। यह पिछले 40 सालो में लखनऊ में सबसे बड़ा भूकंप है। इस क्षमता का भूकंप लखनऊ में कभी नही आय। उनके अनुसार गंगा का मैदानी क्षेत्र होने कारण यहां मिट्टी का मोटा गद्दा है जो भूकंप के झटकों को एब्जार्ब कर लेता है। यही वजह है कि लखनऊ को जोन पांच में रखा गया है जो भूकंप के लिहाज से सुरक्षित है। हालांकि आज के भूकंप के झटकों ने वैज्ञानिकों को नए सिरे से सोचने पर मजबूर कर दिया है। भूकंप के झटकों के कारण लखनऊ के मॉल्स खाली कराए गए हैं। भूकंप से अंबेडकर पार्क की एक बाउंड्री मे भी नुकसान पहुंचा।


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