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आइएएस अनुराग मौत मामले में CBI की एलडीए वीसी से राज उगलवाने की तैयारी

कर्नाटक के आइएएस अनुराग तिवारी की हत्या मामले में सीबीआइ एलडीए वीसी प्रभु एन सिंह से 16 मई की रात के राज उगलवाने की तैयारी में जुट गई है।

By Nawal MishraEdited By: Published: Fri, 23 Jun 2017 09:07 PM (IST)Updated: Sat, 24 Jun 2017 09:49 AM (IST)
आइएएस अनुराग मौत मामले में CBI की एलडीए वीसी से राज उगलवाने की तैयारी
आइएएस अनुराग मौत मामले में CBI की एलडीए वीसी से राज उगलवाने की तैयारी

लखनऊ (जेएनएन)। कर्नाटक के आइएएस अनुराग तिवारी की हत्या का मुकदमा दर्ज करने के बाद सीबीआइ मामले की जांच को तेजी से आगे बढ़ा रही है लेकिन अभी मंजिल दूर है। अनुराग किसी हादसे का शिकार अथवा उनकी मौत एक गहरी साजिश का नतीजा थी, हत्या की गई तो उसकी वजह क्या थी, ऐसे कई सवाल पुलिस के बाद अब सीबीआइ के लिए भी बड़ी चुनौती हैं। ऐसे में सीबीआइ अब एलडीए वीसी प्रभु एन सिंह से 16 मई की रात के राज उगलवाने की तैयारी में जुटी गई है।

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घटना का हर पहलू देख रही सीबीआइ

अनुराग के शव को सबसे पहले देखने वाले प्रत्यक्षदर्शी तक पहुंचने का प्रयास कर रही सीबीआइ टीम घटनाक्रम के हर पहलू को देख रही है। मसलन, 17 मई की सुबह एलडीए वीसी प्रभु एन सिंह उठने के बाद बैडमिंटन खेलने चले गए थे। इस बीच कमरे में अनुराग को न पाकर प्रभु एन सिंह ने उन्हें तलाशने का प्रयास क्यों नहीं किया। 16 मई की रात अनुराग ने प्रभु एन सिंह से क्या बातें की थीं। कहीं ऐसा तो नहीं कि प्रभु एन सिंह ने कोई राज छिपा रखा है, जिसे उन्होंने पुलिस से साझा नहीं किया। पुलिस जांच के पन्नों को पलटने में जुटी सीबीआइ के गले यह बात भी नहीं उतर रही है कि मीराबाई मार्ग जैसे व्यस्त मार्ग पर 17 मई की सुबह अनुराग के शव को सबसे पहले देखने वाले प्रत्यक्षदर्शी को पुलिस तलाश नहीं सकी।इस कड़ी में सीबीआइ अब उस युवक से पूछताछ करने की भी तैयारी में है, जिसने 100 नंबर पर शव पड़े होने की सूचना दी थी।

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पांच दिन बाद हत्या का मुकदमा

दूसरी ओर शव का दोबारा पोस्टमार्टम कराने को लेकर किस स्तर पर मतभेद हुए थे। पोस्टमार्टम के दौरान फोरेंसिक साइंस लैब के एक वरिष्ठ अधिकारी के वहां जाने का मकसद क्या था और उन्हें किसने भेजा था। परिवारीजन ने पांच दिन बाद हत्या का मुकदमा क्यों दर्ज कराया। कर्नाटक में अनुराग के बड़े घोटाले की जांच करने व उनके द्वारा कुछ बड़ों को बेनकाब किए जाने की बात कहां से आई, जबकि एसआइटी ने बेंगलुरु में जांच के बाद अनुराग के वहां किसी बड़े घोटाले की जांच में शामिल होने की बात को नकार दिया। ऐसे कई सवाल भी सीबीआइ अधिकारियों को बेचैन कर रहे हैं। जल्द ही सीबीआइ पोस्टमार्टम पैनल में शामिल डॉक्टरों, फोरेंसिक साइंस लैब के कुछ अधिकारियों, एलडीए वीसी सहित उनके बैच के कुछ अन्य अधिकारियों से पूछताछ कर सकती है। 

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दुकानदारों से पूछताछ 

सीबीआइ टीम ने शुक्रवार को मीराबाई मार्ग स्थित राज्य अतिथि गृह के आसपास के दुकानदारों से पूछताछ की। मकसद, प्रत्यक्षदर्शी को तलाशना था, जिसने आइएएस अनुराग को जिंदा अथवा बीच सड़क पर पड़े होने के दौरान देखा हो। एक दुकानदार ने बताया कि वह करीब साढ़े पांच बजे दुकान खोलने पहुंचा था, तब वहां शव पड़ा था, जबकि एक दुकानदार ने यह भी बताया कि करीब सात बजे पुलिस ने खुल चुकी कुछ दुकानों को बंद करा दिया था। 


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