Move to Jagran APP

सौ रुपये में मिल रहा खुराफात का लाइसेंस

लखनऊ (शोभित मिश्र)। पुलिस लाख चाह ले मोहनलालगंज जैसी घटना रोकना उसके बूते की बात नहीं। महिलाअ

By Edited By: Published: Tue, 22 Jul 2014 12:22 PM (IST)Updated: Tue, 22 Jul 2014 12:22 PM (IST)
सौ रुपये में मिल रहा खुराफात का लाइसेंस

लखनऊ (शोभित मिश्र)। पुलिस लाख चाह ले मोहनलालगंज जैसी घटना रोकना उसके बूते की बात नहीं। महिलाओं के लिए चल रही उसकी हेल्पलाइन 1090 पर भी बड़ा सवाल है। ऐसा इसलिए क्योंकि पुलिस बिना आइडी फर्जी सिम बेचने वालों पर अंकुश नहीं लगा पा रही है। आलम यह है कि महज सौ या पचास रुपये अतिरिक्त देकर कोई भी बिना आइडी के सिम हासिल कर सकता है। ऐसा भी नहीं कि राजधानी पुलिस यह सब जानती नहीं है। बिना आइडी के ऐसे ही दो एक्टिवेटेड सिमकार्ड जब इस संवाददाता ने भी हासिल किए तो पुलिसिया दावों और नियम-कानूनों से भरोसा दरकता नजर आने लगा। मोहनलालगंज की घटना में आरोपी रामसेवक यादव ने फेक आइडी पर खरीदे गए सिमकार्ड से ही महिला को अपने जाल में फंसाया और फिर दरिंदगी के बाद उसकी हत्या कर दी। हेल्पलाइन 1090 की शत प्रतिशत सफलता तभी संभव है जब सिम ओरिजनल आइडी पर खरीदी गई हो। पर ऐसा है नहीं। राजधानी में बड़े पैमाने पर महज सौ से डेढ़ सौ रुपये में बिना आइडी या फर्जी आइडी के एक्टिवेटेड सिमकार्ड बिक रहे हैं। संवाददाता ने इस फर्जीवाड़े को करीब से समझने के लिए सिम बेचने वाले दुकानों की ओर रुख किया। संवाददाता ने सीतापुर रोड स्थित पुरनिया तिराहे पर एक मोबाइल फोन की दुकान पर पहुंचकर एक्टिवेटेड सिमकार्ड मागा। दुकानदार ने पहले तो मना किया लेकिन बाद में सिर्फ 50 रुपये अतिरिक्त देने पर बिना आइडी के 904487.सिरीज का नंबर आसानी से उपलब्ध करा दिया। दुकानदार से पूछा गया कि यह नंबर किसके नाम है तो उसने बताया कि आम खाओ, गुठली मत गिनो। उससे पूछा गया कि कस्टमर केयर नंबर पर फोन मिलाने पर अगर जानकारी देने वाले शख्स ने नाम-पता पूछ लिया तो क्या बताएंगे। इस पर दुकानदार ने कहा कि नंबर चालू कराने के दौरान यह सब जानकारी ली जाती है, अब आप परेशान न हों, मौज से नंबर चलाइए। इसके बाद बैलेंस जानने के लिए कस्टमर केयर नंबर 198 पर फोन मिलाया गया। उक्त नंबर में 38 रुपये बैलेंस 18 अक्टूबर 2014 तक वैध है। इसके बाद संवाददाता सीतापुर रोड स्थित गल्ला मंडी पुलिस चौकी के पास स्थित मोबाइल फोन की दुकान पर पहुंचा। दुकानदार से एक्टिवेटेड सिमकार्ड देने को कहा गया, पहले इसने भी सिमकार्ड देने में आनाकानी की फिर सौ रुपये लेकर बिना आइडी के 7068555. सिरीज का मोबाइल फोन नंबर आसानी से उपलब्ध करा दिया। कस्टमर केयर नंबर 121 पर फोन मिलाने पर पता चला कि उक्त नंबर में 60 रुपये बैलेंस 14 अक्टूबर तक वैध है। ऐसे में सहज ही अनुमान लगाया जा सकता है कि अपराधी का इरादा चाहे महिलाओं को परेशान करने का हो या आतंकी वारदात, महज सौ रुपये इसका लाइसेंस उसे मुहैया हो सकता है। दुकानदार भी चंद रुपये के लालच में सुरक्षा-व्यवस्था से खिलवाड़ कर रहे हैं और नेटवर्क प्रदाता कंपनिया अपना व्यवसाय बढ़ाने के लिए वितरकों को इसकी खुली छूट दे रही हैं। संवाददाता ने राजधानी के अलग-अलग क्षेत्र में दस मोबाइल फोन की दुकानों पर संपर्क किया। इस दौरान पाच दुकानदार बिना आइडी के सिम देने को तैयार थे।

loksabha election banner

डीआइजी नवनीत सिकेरा ने कहा कि राजधानी में गलत तरह से सिमकार्ड बेचने का मामला मेरे संज्ञान में हैं। कंपनियों के सहयोग न करने से हम इनपर शिकंजा नहीं कस पा रहे हैं। बिना आइडी के सिमकार्ड देने वाले दोनों दुकानदार के साथ संबंधित कंपनियों के अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा दर्जकर सख्त कार्रवाई की जाएगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.