फंसेंगे सचिवालय के बड़े अफसर
लखनऊ(शोभित मिश्र)। विधानसभा सचिवालय का फर्जी पास जारी कराने के मामले में सहायक समीक्षा अधिक
लखनऊ(शोभित मिश्र)। विधानसभा सचिवालय का फर्जी पास जारी कराने के मामले में सहायक समीक्षा अधिकारी/ व्यवस्थाधिकारी आइएस भदौरिया समेत कुछ बड़े अधिकारियों की भूमिका संदेह के घेरे में आ गई है। पुलिस जांच में सामने आया है कि आइएस भदौरिया के भांजे सफाईकर्मी शैलेंद्र सिंह ने उनके कहने पर एक सादे कागज पर मुख्य व्यवस्था अधिकारी सुमन चौधरी की राइटिंग में पास जारी करने की बात लिखी थी और गिरफ्तार सफाईकर्मी महक सिंह ने सुमन चौधरी के दस्तखत बनाए थे।
पुलिस कुछ और अधिकारियों की भी भूमिका की गोपनीय ढंग से जांच कर रही है। महक सिंह फरार आरोपी कुलदीप उर्फ भोलू का परिचित है। पूरे मामले में दोनों की मिलीभगत उजागर हो चुकी है। विवेचक ने ठेकेदार टीके सिंह और मुख्य स्वागत अधिकारी उदयवीर सिंह राठौर को पूछताछ के लिए नोटिस भेजी है।
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फंसे तो झाड़ने लगे पल्ला
सचिवालय में फर्जी नौकरी के लिए फर्जी पास जारी करने के मामले में अफसर फंसने लगे तो जिम्मेदारियों से पल्ला झाड़ रहे हैं। सफाईकर्मी शैलेंद्र सिंह का कहना है कि उसने मामा (आइएस भदौरिया) के कहने पर पांच लोगों के पास बनाने के लिए लिखा था। वहीं, भदौरिया का कहना है कि उन्होंने सफाई कर्मचारी महक सिंह के कहने पर दो-तीन लोगों पास बनवाने को कहा था। मुख्य व्यवस्थाधिकारी भी यह कहकर पल्ला झाड़ रही हैं कि उन्होंने ये पास जारी करने की संस्तुति नहीं की।