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आज रात से सजेगा भवानी का दरबार

कानपुर,जागरण संवादाता: वासंतिक नवरात्र शनिवार से शुरू होंगे। ऐसे में आज रात्रि से ही मां अंबे का दरब

By Edited By: Published: Thu, 19 Mar 2015 06:48 PM (IST)Updated: Thu, 19 Mar 2015 06:48 PM (IST)
आज रात से सजेगा भवानी का दरबार

कानपुर,जागरण संवादाता: वासंतिक नवरात्र शनिवार से शुरू होंगे। ऐसे में आज रात्रि से ही मां अंबे का दरबार सज जाएगा। मंदिरों में तैयारियां पूरी हो गई हैं और उन्हें दुल्हन की तरह सजाया गया है। भोर में मंगला आरती के साथ मंदिरों के पट खुलेंगे और मां जगदम्बा भक्तों को दर्शन देंगी। भगवती शैलपुत्री के पूजन व कलश स्थापना के साथ नवरात्र के व्रत का शुभारंभ होगा। घरों में जगदंबा की मूर्तियां भी स्थापित होंगी। मंदिरों में बेरीकेडिंग की जा रही है।

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नवरात्र में आशा माता मंदिर, जंगली देवी, तपेश्वरी माता मंदिर, बारा देवी, उजियारी देवी, काली मठिया, काली बाड़ी मंदिर में दर्शन पूजन को खूब भीड़ उमड़ती है। बारा देवी, तपेश्वरी और काली मठिया में सुरक्षा व्यवस्था और भीड़ नियंत्रित करने में पुलिस को पसीना छूट जाता है। ऐसे में इस बार श्रद्धालुओं को नियंत्रित करने के लिए मंदिरों के प्रबंधन ने भी तैयारियां की हैं। भक्त इस बार मां को सितारा, कुंदन, मोती युक्त चुनरी अर्पित करेंगे। घरों में मूर्तियां स्थापित कर श्रद्धालु भगवती को चुनरी भी ओढ़ाते हैं। मंदिरों में भी मां को चुनरी अर्पित कर मंगलमय जीवन की कामना करते हैं। इस बार भगवती के लिए बाजार में गोटा लगी हुई चुनरी भक्तों को लुभा रही है। सितारा, कुंदन व मोती लगी हुई चुनरी भी मां पर खूब फबेगी। बाजार में 20 रुपये से पांच सौ रुपये तक की चुनरी बिक रही है।

खूब बिकी मां की मूर्तियां

बारा देवी मंदिर, तपेश्वरी माता मंदिर के पास मिट्टी और मेटल की मूर्तियों की खरीदारी गुरुवार को खूब हुई। दो फीट की मेटल की मूर्तियां दो से तीन सौ रुपये में बिक रही हैं। इसी तरह मिट्टी की मूर्तियां भी 20 रुपये से 50 रुपये में बिक रही है।

एक ही थाली में पूजन सामग्री

बाजार में एक ही थाल में सभी सामग्री उपलब्ध है चाहे लौंग हो या जायफल, सिंदूर, कुमकुम व सुहाग के सामान। सौ रुपये से लेकर 150 रुपये तक की थाली बाजार में उपलब्ध है।

मां के इन स्वरूपों की स्तुति

नवरात्र में मां दुर्गा के नौ स्वरूपों का पूजन होता है। ज्योतिषविद् दीपक पांडेय के मुताबिक माता अपने भक्तों के दुख दूर करने के लिए नौ दुर्गा के रूप में प्रगट हुई। नवरात्र के दिनों में शैलपुत्री, ब्रह्माचारिणी, चंद्रघंटा, कूष्माण्डा, स्कंदमाता, कात्यायिनी, कालरात्रि, महागौरी व सिद्धिदात्री के रूप में मां दुर्गा क पूजन होता है। मां के पूजन से पूर्व सुगंध युक्त तेल मंगल स्नान करके भगवती के इन स्वरूपों का ध्यान करना चाहिए। प्रथम दिन घट स्थापना, देव स्थापना के साथ नवग्रहों की पीड़ा से मुक्ति का संकल्प भी करना चाहिए। जो लोग मां दुर्गा के पूजन के साथ ही नवग्रहों के बीज मंत्रों का जाप करते हैं उन्हें ग्रह अनुकूल फल देते हैं।


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