कस्तूरबा गांधी विद्यालयों को नहीं मिल रहीं अल्पसंख्यक छात्राएं
जौनपुर: कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालयों को अल्पसंख्यक छात्राएं नहीं मिल रही हैं। अक्टूबर माह बीतने
जौनपुर: कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालयों को अल्पसंख्यक छात्राएं नहीं मिल रही हैं। अक्टूबर माह बीतने को हैं अभी तक 380 के सापेक्ष 210 ने ही नामांकन कराया है। कोटा पूरा करने के लिए सीडीओ की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में चार दिनों का अवसर दिया गया है।
ड्राप आउट व स्कूल न जाने वाली बालिकाओं को शिक्षित करने के लिए जिले में 19 कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय खोले गए हैं। केंद्र व प्रदेश सरकार के संयुक्त पहल पर संचालित इस योजना के तहत प्रत्येक विद्यालयों में 100 बालिकाओं को कक्षा छह से आठ तक शिक्षा देने के साथ ही रोजगारपरक प्रशिक्षण देकर स्वावलंबी बनाया जा रहा है। विद्यालय में पढ़ने वाली छात्राओं को भोजन, कपड़ा व कापी-किताब आदि सामग्री सरकार द्वारा मुफ्त दी जाती है।
शासनादेश के मुताबिक इन विद्यालयों में बीस फीसद यानी 380 अल्पसंख्यक बालिकाओं को शिक्षा देना है। अक्टूबर माह तक महज 210 बालिकाओं ने ही प्रवेश लिया। रिक्त पदों के संबंध में मुख्य विकास अधिकारी पीसी श्रीवास्तव की अध्यक्षता में मंगलवार को कमेटी की बैठक में चार दिन की और मोहलत दी गई। सीडीओ ने अल्पसंख्यक समुदाय के अभिभावकों से आह्वान किया कि ड्राप आउट व स्कूल में अब तक प्रवेश न लेने वाली छात्राओं का नामांकन कराकर योजना का लाभ उठाएं। उन्होंने कहा कि निर्धारित समय तक यदि अभ्यर्थी नहीं आए तो जिलाधिकारी की अनुमति पर रिक्त पदों को सामान्य कोटे से प्रवेश हेतु सचिव को पत्र लिखा जाएगा।
बैठक में जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी साहित्य निकष सिंह, बीएसए, जिला समन्वयक बालिका शिक्षा, खंड शिक्षा अधिकारी धर्मापुर, वार्डेन धर्मापुर आदि मौजूद रहे।