दुकानदारों के कब्जे में फुटपाथ
हाथरस: सिकंदराराऊ बड़ा बाजार में फुटपाथ का अस्तित्व समाप्त हो गया है। दुकानदारों ने फुटपाथ अपनी दुका
हाथरस: सिकंदराराऊ बड़ा बाजार में फुटपाथ का अस्तित्व समाप्त हो गया है। दुकानदारों ने फुटपाथ अपनी दुकानें सजा ली हैं। लोग सड़क पर चलने को मजबूर हैं।
मुख्य बाजार बड़ा बाजार के नाम से जाना पहचाना जाता है, लेकिन यह अतिक्रमण की चपेट में है। दुकानदारों ने नालियों को पाटकर तो कब्जा कर ही रखा है। फुटपाथ पर भी अपना कब्जा कर लिया है। राठी चौराहे से लेकर तिराहा तक जाने वाली सड़क पर दोनों किनारे कब्जा हो चुका है। फुटपाथ व नालियों पर अतिक्रमण कारियों ने पक्का निर्माण तक करा लिए हैं। इससे यह सड़क एक पगडंडी नजर आती है। इसके बाद उनके ऊपर तिरपाल तान लिया गया है। ऐसे में यह बाजार नहीं, गली नजर आती है।
इस सड़क पर बने कई शोरूम व बड़ी-बड़ी दुकानें होने से यहां पार्किंग की तो कतई सुविधा नहीं है। इन दुकानों पर खरीदारी करने आने वाले लोग सड़कों पर वाहन खड़े कर देते हैं। इससे सड़क आधी रह जाती है। अगर कोई बाइक या चौपहिया वाहन यहां से गुजरे तो जाम की स्थिति बन जाती है। यदि कोई इसका विरोध करे तो झगड़े तक की नौबत आ जाती है। इस अतिक्रमण को हटाने के लिए प्रशासन ने कई बार कोशिश की है, लेकिन हर बार नाकामयाबी ही मिली है। अतिक्रमण को लेकर प्रशासन को तख्ती से कार्रवाई करनी चाहिए।
आपकी प्रतिक्रिया
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वाहन पार्किंग की सुविधा न होने से बाजार की सड़कों पर दुकानदार दुकानों के सामने ही वाहन खड़े करवा लेते हैं। इससे लोगों को निकलने में परेशानी होती है।
-कुशल वाष्र्णेय।
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नालियों के ऊपर हो रहे अतिक्रमण से सड़क छोटी दिखाई देती है, जिससे यहां पैदल ही निकलना मुश्किल होता है। वाहन तो दूर की बात रही।
-राजीव शर्मा।
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बाजार की सड़क को अतिक्रमण मुक्त कर स्थानीय लोगों को प्रशासन का सहयोग करना चाहिए। आम जनता को आवागमन में कोई परेशानी न हो।
-सौरभ जादौन।
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सिस्टम की सुनो
बाजारों में शीघ्र ही अभियान चलाया जाएगा। इसके लिए मुनादी भी करा दी गई है। समय रहते लोग खुद ही अतिक्रमण हटा लेंगे तो उन्हें नुकसान नहीं होगा। वरना जेसीबी से पक्के निर्माण तुड़वा दिए जाएंगे।
-फानूस बेगम, अध्यक्ष,
नगर पालिका, सिकंदराराऊ।
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फुटपाथों से अतिक्रमण हटवाने पर पूरा जोर है। राहगीर आसानी से निकल सके और सफाई कर्मचारियों को भी कोई दिक्कत न हो। नालियों के ऊपर कतई भी अतिक्रमण नहीं चाहिए।
-शमीम अहमद खान,
डीएम, हाथरस।