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क्लीनिकल स्टेबलिसमेंट बिल का विरोध करेंगे डाक्टर

गोरखपुर इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, क्लीनिकल स्टेबलिसमेंट बिल का विरोध करेगा। इसको लेकर एक जुलाई को ड

By Edited By: Published: Fri, 01 Jul 2016 01:24 AM (IST)Updated: Fri, 01 Jul 2016 01:24 AM (IST)
क्लीनिकल स्टेबलिसमेंट बिल का विरोध करेंगे डाक्टर

गोरखपुर

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इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, क्लीनिकल स्टेबलिसमेंट बिल का विरोध करेगा। इसको लेकर एक जुलाई को डाक्टर्स डे के दिन सभी चिकित्सक गोलघर स्थित चेतना तिराहे पर इकट्ठा होंगे और जुलूस निकालेंगे।

यह बातें इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की गोरखपुर शाखा के अध्यक्ष डा. डीके सिंह, सचिव डा. वीके गुप्ता, पूर्व अध्यक्ष डा. आरएन सिंह, नेत्र विशेषज्ञ डा. शशांक कुमार व पैथालॉजिस्ट डा. मंगलेश श्रीवास्तव ने गुरुवार को पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहीं। उन्होंने कहा कि क्लीनिकल स्टेबलिसमेंट बिल के लागू होने से चिकित्सा व्यवस्था महंगी हो जाएगी। आम आदमी के लिए प्राइवेट में इलाज कराना मुश्किल हो जाएगा। बड़ी तादाद में जनता स्वास्थ्य सुविधाओं से वंचित हो जाएगी। इंस्पेक्टर राज, प्रशासनिक दखल और मानक पूरा करने की औपचारिकता में इस समय सस्ते दर पर इलाज कर रहे संस्थान भी लोगों की पहुंच से दूर हो जाएंगे।

उन्होंने बिल में संशोधन की मांग करते हुए कहा कि एकल चिकित्सक क्लीनिक को बिल से मुक्त रखा जाए। पंजीकरण के लिए जिला स्तरीय इकाई मुख्य चिकित्साधिकारी के अधीन हो। पंजीकरण का नवीनीकरण तीन साल या पांच साल के बाद हो।

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नेत्र शिविर आयोजित करेगा आइएमए

डाक्टर्स डे के अवसर पर इंडियन मेडिकल एसोसिएशन मधुमेह पीड़ितों के लिए नेत्र अस्पतालों के साथ मिलकर निश्शुल्क नेत्र शिविर का आयोजन करेगा। शिविर में मधुमेह के कारण आंख के पर्दे पर होने वाले नुकसान (रेटिनोपैथी) का मुफ्त परीक्षण किया जाएगा। आइएमए के अध्यक्ष डा. डीके सिंह व सचिव डा. वीके गुप्ता ने बताया कि मधुमेह पीड़ितों में बीमारी के छह साल बाद आंख के पर्दे में खराबी आनी शुरू हो जाती है। अगर इसका इलाज न किया जाए आंख की रोशनी जा सकती है। शिविर में आने वाले मरीजों को सलाह दी कि वह मधुमेह के इलाज का कोई पर्चा लेकर आएं जिससे उनका पंजीकरण निश्शुल्क हो सके। पंजीकरण आइएमए द्वारा चयनित अपने निकटतम नेत्र अस्पताल में कराया जा सकता है।


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