रैन बसेरों में ताला बंद तो कहां ठहरें यात्री
जागरण संवाददाता, गोरखपुर : पहाड़ों पर हुई बर्फबारी ने सर्दी बढ़ा दी है। रविवार को पूरे दिन सर्द हवाएं
जागरण संवाददाता, गोरखपुर : पहाड़ों पर हुई बर्फबारी ने सर्दी बढ़ा दी है। रविवार को पूरे दिन सर्द हवाएं चलीं। ठंड से बचने के हर प्रयास कम पड़ गए। बावजूद इसके शहर में आने वाले लोगों को ठहरने के लिए बने रैन बसेरों को दिन में कौन कहे शाम के बाद रात तक नहीं खोला जा सका था। रात्रि आठ से साढ़े आठ बजे बीच तीन रैन बसेरों की स्थिति जानने के लिए उन्हें देखा गया तो उनमें से दो बंद मिले। मुख्य अभियंता को स्थिति से अवगत कराने के बाद भी कोई जिम्मेदार उन्हें खोलने नहीं आया।
ट्रांसपोर्ट नगर स्थित पुलिस चौकी के बगल के रास्ते पर शुलभ शौचालय से बमुश्किल सौ कदम की दूरी पर रैन बसेरा है। रात्रि आठ बजे यहां ताला लटका मिला। वहां तक पहुंचने वाले मार्ग पर स्थित खंभों पर सोडियम बल्ब लगे हैं, लेकिन उनके न जलने से रास्ता पूरी तरह घुप्प अंधकार में डूबा हुआ है। प्रभारी मुख्य अभियंता एसके केसरी को स्थिति बताई गई तो उन्होंने आश्चर्य व्यक्त करते हुए जेई को चेतावनी के साथ निर्देश देने की बात कही। इसके बाद भी काफी देर तक यहां कोई नहीं आया।
हांसूपुर स्थित रैन बसेरे पर भी चैनल पर ताला लटका मिला। अंदर झांककर देखने पर छह चौकी आड़े-तिरछे रखी थी। छह चौकियों पर सिर्फ गद्दे व तकिया बिछे थे। अलाव की कुछ लकड़ी भी अंदर दिखी। आलमारी और कुर्सियां भी रखीं थीं।
साढ़े आठ बजे कचहरी बस स्टेशन स्थित रैन बसेरे पर स्थिति बेहतर दिखी। चार दिन पूर्व शुरू फर्श पर टाइल्स लगाने का कार्य पूरा हो चुका है। अंदर छह चौकियों पर गद्दा, चादर बिछने के साथ तकिए लगे रहे। मनोरंजन के लिए एक छोटी टीवी भी रखी है। शौचालय, स्नानघर और रसोई घर भी व्यवस्थित मिला। यहां शरदेंदु चतुर्वेदी ड्यूटी पर मुस्तैद थे।
रैन बसेरों के खुलने की यह हालत है, जबकि हाईकोर्ट ने शीतलहर में इसे चौबीस घंटे खोले रखने का आदेश दे रखा है।
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'सभी रैन बसेरों पर सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। कंबल का भी वितरण हो रहा है। जहां कमी है उसे शीघ्र दूर करा लिया जाएगा। ताला बंद रहने पर संबंधित जेई और एई की जबाबदेही तय की जाएगी। '
एसके केशरी, प्रभारी मुख्य अभियंता
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स्थान संचालक जेई एई
- कचहरी बस स्टेशन- मानव सेवा संस्थान- आरके मिश्र, प्रेम मोहन श्रीवास्तव
- हांसूपुर चौराहा- विभागीय व्यवस्था- सदानंद- हरिहर प्रसाद यादव
- ट्रांसपोर्ट नगर- श्रेयस सेवा संस्थान- आरके मिश्र- प्रेम मोहन श्रीवास्तव
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हाईकोर्ट की यह है गाइड लाइन
- सार्वजनिक स्थानों पर रैन बसेरों की स्थापना की जाए।
- चौकी, विस्तर, तकिया, रजाई, कंबल का इंतजाम हो।
- रसोईघर में स्टोव/ गैस-चूल्हा, खाना बनाने के बर्तन मौजूद रहें।
- महिला और पुरुष के शौचालय व स्नानघर अलग-अलग हों।
- पेयजल और प्रकाश का समुचित प्रबंध हो।
- प्राथमिक उपचार की हर दवा मौजूद रहे।
- ठहरने वालों के मनोरंजन के लिए एक छोटा टीवी लगाया जाए।
- लोगों के उपयोग के लिए कुर्सी, मेज, बक्शे, आलमीरा रखे जाएं।
- ठंड के दिनों में प्रत्येक रैन बसेरे पर अलाव की व्यवस्था की जाए।