निर्देशों से खेल रहे नगर निगम अफसर
जागरण संवाददाता, गोरखपुर : महानगर में अतिक्रमण की समस्या इस कदर गंभीर नहीं होती, यदि उच्चाधिकारियोंद्वारा पूर्व में दिए गए निर्देशों का पालन किया गया होता। यातायात के सुचारू संचालन के लिए तत्कालीन मंडलायुक्त व जिलाधिकारी ने चौराहों को पचास मीटर की परिधि में पूरी तरह अतिक्रमणमुक्त रखने का निर्देश दिया था। यहां के अधिकारी ही उच्चाधिकारियों के निर्देशों का अनुपालन नहीं कर रहे हैं। नगर निगम अफसरों का क्या? जाम हो, कोई लड़े-भिड़े, चोटिल हो कोई मतलब नहीं। मुठ्ठी गर्म कर अतिक्रमण करने की खुली छूट देने के आरोप भी लग रहे हैं, लेकिन इनकी सेहत पर कोई फर्क नहीं है। संबंधित अधिकारियों-कर्मचारियों ने चौराहों की क्या गति बना रखी है, आइए देखते हैं।
शास्त्री चौक-यहां पूरब पटरी पर लगने वाले अवैध टैम्पो स्टैंड और पश्चिम पटरी पर लगने वाले सब्जी व फल के ठेले आवागमन में बाधक हैं। इन्हें हटाया जाना जरूरी है।
मोहद्दीपुर चौराहा-यहां भी हर दिन लोगों को जाम झेलना पड़ रहा है। इसका मुख्य कारण दोनों पटरियों पर ठेलों का जमावड़ा और व्याप्त गंदगी है। यहां डिवाइडर के बाएं तरफ कच्चे फुटपाथ की इंटरलाकिंग करा दी जाए तो राह आसान हो।
घोष कंपनी चौराहा-ठीक चौराहे पर दही-लस्सी व सब्जी की दुकानें लगती हैं। चाट-फुलकी, सब्जी, फल के ठेले बड़ी संख्या में पचास मीटर परिधि के भीतर ही लग रहे हैं।
कचहरी चौराहा- टाऊनहाल की ओर बढ़ने पर चौराहे से सटे विद्युत पोल आवागमन में बाधा पहुंचा रहे हैं। इन्हें हटाकर किनारे कर दिया जाए तो लोगों को रास्ता मिले, लेकिन यह भी काम नहीं हो पा रहा है।
बैंक रोड चौराहा- यहां बांसफोड़ ने बस्ती बसा रखी है। सड़क की दोनों पटरियों पर यह काबिज हैं और इनका पूरा कारोबार सड़क पर ही चल रहा है। इसी तरह बैंक रोड पर वाहन मैकेनिकों, फूल-पौधे, टाई-बेल्ट, टोपी बेचने वाले कब्जा जमाए रहते हैं।
अलीनगर चौराहा- इस चौराहे पर अतिक्रमण की समस्या सबसे गंभीर है। पूरी बाजार चौराहे पर सजती है और लोगों को आने-जाने में दिक्कत उठानी पड़ रही है। चार पहिया वाहन चालकों को तो रास्ता पार करने में नाकों चने चबाने पड़ रहे हैं।
असुरन चौराहा: पालीटेक्निक स्कूल से असुरन चौराहे तक बनाए गए फुटपाथ पर एक इंच दुकानदारों ने नहीं छोड़ रखी है। सुबह से शाम तक दर्जनों दुकानों सज जाती हैं। पैदल राहगीरों को भी पिच सड़क पर वाहनों के बीच आने-जाने की मजबूरी है।
घंटाघर चौराहा- यहां पुलिस बूथ के आगे-पीछे से लेकर घंटाघर के नीचे तक दुकानदारों का कब्जा सुबह से शाम तक बना रहता है। प्रमुख बाजार होने के कारण हर दिन भारी भीड़ होती है।
अलहदादपुर तिराहा- टीडीएम स्कूल से आते समय बाएं तरफ सड़क पर दुकानें लग रहीं हैं। बाएं पटरी पर दर्जन भर से अधिक गुमटी फुटपाथ पर लगाए जाते हैं। आगे बढ़ने पर रीड साहब धर्मशाला चौराहा पर बाएं तरफ दुकानदारों का कब्जा है। लोगों का आना-जाना मुश्किल है।
सभी विभागों के सहयोग से ही समाधान संभव: नगर आयुक्त
नगर आयुक्त आरके त्यागी ने इस संबंध में कहा कि कई बार अभियान चलाकर सड़कों को अतिक्रमणमुक्त किया गया। इसकी सीडी भी पुलिस को सौंपी गई। यथास्थिति बनाए रखने की जिम्मेदारी पुलिस की है। संबंधित सभी विभागों का सहयोग मिले तो समस्या हल हो।