ग्रामीणों को नहीं मिला लाभ, भवन भी हो गया जर्जर
चित्र परिचय: 09जीएनडी030-उजड़ रही प्लास्टर व फर्श संसू, कर्नलगंज (गोंडा): ग्रामीण क्षेत्र की म
चित्र परिचय: 09जीएनडी030-उजड़ रही प्लास्टर व फर्श
संसू, कर्नलगंज (गोंडा): ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं व बच्चों को आसानी से स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराने के लिए सरकार ने गांवों में स्वास्थ्य उपकेंद्र बनवाए थे, जो अब मात्र शोपीस बनकर खड़े हैं। जिसका कारण स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं की कमी बताई जा रही है। लाखों रुपये व्यय होने के बाद भी ग्रामीणों को उसका लाभ नहीं मिल पा रहा है।
जिसका एक नमूना ब्लॉक कर्नलगंज अंर्तगत ग्राम लालेमऊ का स्वास्थ्य उपकेंद्र है। वर्ष 2007-08 में करीब चार लाख रुपये की लागत से इस उपकेंद्र का निर्माण कराया गया था। इसके निर्माण से यहां के लोग काफी खुशी हुई थी कि अब महिलाओं व बच्चों को सीएचसी नहीं ले जाना पड़ेगा। सरकार ने अब घर बैठे स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया करवा दी है। लेकिन यह खुशी ज्यादा दिन तक नहीं रही, भवन बन कर तैयार हो गया और एक जुलाई 2009 को तत्कालीन विधायक कुंवरि बृज ¨सह द्वारा इसका उद्घाटन भी किया गया। लेकिन इसका संचालन आज तक नहीं हो सका। जिससे यहां के लोग इसके लाभ से वंचित रह गए। अब तो भवन की दीवार का प्लास्टर उजड़ने लगा है। खिड़की में लगी आधी ग्रिल को चोर तोड़ ले गए। फर्श ध्वस्त हो चुकी है, दरवाजे सब खुले पड़े हैं। प्रांगण में जंगली घासों ने अपना साम्राज्य स्थापित कर रखा है। कमरों में गंदगी की भरमार है। कारण यहां पर किसी स्वास्थ्य कार्यकर्ता की तैनाती नहीं है। ग्रामीणों की मानें तो जिसकी तैनाती हुई भी वह भी नही आया। इसकी शिकायत भी हुई, लेकिन कोई कार्रवाई नही हुई। जिससे इसके निर्माण पर व्यय किया गया धन बेकार साबित हो रहा है। सीएचसी अधीक्षक डॉ. आफताब आलम कहते हैं कि उप स्वास्थ्य केंद्र के बारे में जानकारी नहीं है। जानकारी करके जांच रिपोर्ट तैयार कर अधिकारियों को भेजा जाएगी।