छलका पुल के लिए ग्राम प्रधानों ने भरी हुंकार
करंडा (गाजीपुर) : स्थानीय ब्लाक के मानिकपुर कोटे गांव में गांगी नदी पर छलका पुल जनप्रतिनिधियों की उप
करंडा (गाजीपुर) : स्थानीय ब्लाक के मानिकपुर कोटे गांव में गांगी नदी पर छलका पुल जनप्रतिनिधियों की उपेक्षा के चलते अधूरा है। पुल निर्माण के लिए दर्जनों गांवों के ग्राम प्रधान लामबंद हो रहे हैं। गांव के ही मां काली मंदिर पर सोमवार को एकत्र होकर ग्राम प्रधानों ने एक स्वर से आक्रोश जताया। पुल नहीं बनने पर सड़क पर उतरने की चेतावनी दी।
पुल के अभाव में ग्रामीणों में ब्लाक मुख्यालय जाने के लिए दस किमी की दूरी तय करनी पड़ती है। पुल बनने पर यह दूरी महज तीन किमी हो जाएगी। पशु अस्पताल व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जाने में काफी फजीहत होती है। बाढ़ आने से दो महीने तक आवागमन बाधित हो जाता है। इस दौरान नाव ही विकल्प रहता है। इससे हादसे की आशंका बनी रहती है। नदी पार करने में अब तक कई लोगों की मौत भी हो चुकी है।
ग्राम प्रधान एकजुट होकर जनप्रतिनिधियों का घेराव करने की तैयारी में हैं। उनका कहना है कि पुल बनवाने के लिए वे निर्णायक आंदोलन करेंगे। उन्होंने जनप्रतिनिधियों व प्रशासन के उपेक्षात्मक रवैये पर आक्रोश भी जताया।
होगा आंदोलन
2सी: अरुण सिंह
मानिकपुर कोटे गांव में अधूरा पड़ा छलका पुल निर्माण के लिए अब आंदोलन किया जाएगा। इसके लिए ग्राम प्रधान व ग्रामीण तैयार हैं। - अरुण सिंह, पूर्व चेयरमैन, जिला सहकारी बैंक।
अधिक दूरी तय करने की मजबूरी
3सी: जनार्दन यादव
नंदगंज जाने के लिए 13 किलोमीटर की दूरी तक करनी पड़ती है। पुल बन जाए तो महज पांच किमी की दूरी रह जाएगी। यदि जनप्रतिनिधि ध्यान दें तो समस्या का समाधान हो सकता है। - जनार्दन यादव, ग्राम प्रधान, तुलापट्टी।
ध्यान दें जनप्रतिनिधि
4सी: रामराज यादव
इसमें जनप्रतिनिधियों की लापरवाही है। सपा सरकार के कार्यकाल में ही पुल का शिलान्यास हुआ था। इसी सरकार में पुल का निर्माण हो जाना चाहिए। इसके लिए जनप्रतिनिधियों को ध्यान देना चाहिए। - रामराज यादव, सपा नेता, आनापुर।
होती है परेशानी
5सी: शिवानंद पटेल
अक्सर बाजार करने नंदगंज जाना पड़ता है। पुल नहीं होने से काफी परेशानी होती है। जनप्रतिनिधि ध्यान नहीं देंगे तो एकजुट होकर आंदोलन किया जाएगा। - शिवानंद पटेल, मानिकपुर कोटे।