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धड़ल्ले से चल रहे जींस रगाई के अवैध कारखाने

जागरण संवाददाता, लोनी : ट्रांस ¨हडन क्षेत्र में जींस रंगाई के कारखानों के प्रतिबंध के बाद भी लोनी नग

By Edited By: Published: Mon, 20 Feb 2017 09:38 PM (IST)Updated: Mon, 20 Feb 2017 09:38 PM (IST)
धड़ल्ले से चल रहे जींस रगाई के अवैध कारखाने
धड़ल्ले से चल रहे जींस रगाई के अवैध कारखाने

जागरण संवाददाता, लोनी : ट्रांस ¨हडन क्षेत्र में जींस रंगाई के कारखानों के प्रतिबंध के बाद भी लोनी नगर पालिका क्षेत्र में बड़े पैमाने में जींस रंगाई के कारखाने चल रहे हैं। इनमें प्रतिदिन लाखों लीटर भू-जल का दोहन हो रहा है। जल स्तर में तेजी से गिरावट हो रही है। रंगाई में प्रयोग किए जाने वाले केमिकल्स पर्यावरण में प्रदूषण बढ़ा रहे हैं। फिर भी प्रशासन अवैध कारखानों पर कार्रवाई नहीं कर रहा।

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बड़े पैमाने पर चल रही अवैध कारखाने : नगर में शायद ही कोई कालोनी बची हो, जहां जींस रंगाई के कारखाने नहीं हैं। ट्रॉनिका सिटी, सेवा धाम, रूप नगर, अमित विहार, हंस गार्डन, कुमार कॉलोनी, नाईपुरा, राणप, विकास नगर, नवीन गार्डन, जावली गांव, टीला गांव और बेहटा गांव समेत समस्त गांवों व कालोनियों में बेधड़क जींस कपड़ों की रंगाई की जा रही है। कभी-कभी प्रशासन यहां खाना पूर्ति करते हुए छापा मारकर कुछ कारखानों को सील करते है। लेकिन कुछ दिन बाद पुन: कारखाने चलने लगते है।

लाखों लीटर पानी का हो रहा दोहन : जींस रंगाई के इन कारखानों में प्रतिदिन लाखों लीटर भूमिगत जल का दोहन हो रहा है। इन कारखानों में जलनिगम की बिना अनुमति के बड़े-बड़े समरसिबल

पंप लगे हैं, जो चौबीसों घंटे बेधड़क भूमि से पानी निकालते रहते हैं।

केमिकल से पर्यावरण प्रदूषण हो रहा दूषित : कारखानों में प्रयोग किए जाने वाले रसायन से आस-पास के रहने वाले काफी परेशान उठनी पड़ रही है। भारी मात्रा में प्रयोग हो रहे केमिकल से भूमिगत जल भी दूषित हो गया है। कुछ इलाकों में भूमिगत पानी इतना जहरीला हो गया है। कि लोगों को 20 रूपये प्रति बोतल पानी खरीदना पड़ता है। दूषित वातावरण होने से इन कारखानों के आसपास के लोगों को सांस लेने में भी दिक्कत होती है।

आवासीय कालोनियों में कारखाने

यहां आवासीय कालोनियों में हजारों कारखाने चल रहे हैं। मकान मालिक मोटे कमाई के चलते आसानी से कारखानों के मालिकों केा जमीन, मकान व सुरक्षा मुहैया कराते हैं, जिससे जींस रंगाई का धंधा यहां बड़े पैमाने पर फल-फूल रहा है। राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग में इस संदर्भ में दायर याचिका में पुलिस व जिम्मेदार विभाग से इस संबंध में जबाब मांगा गया है।

अवैध कारखानों के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है, जिसके चलते बेहटा गांव में कुछ कालोनियों को सील किया गया था।

प्रेम रंजन ¨सह, उपजिलाधिकारी, लोनी


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