धान के खेत में पड़ी दरारें
फीरोजाबाद (नारखी) : बरसात न होने से हालात खराब हो गए हैं। अपनी फसल की सुरक्षा के लिए किसान अब पशु पक्षियों के लिए एकत्र किया गया पानी भी अपने प्रयोग में ले रहे हैं। इसके बाद भी उनकी जरूरत पूरी होती नजर नहीं आ रही है। पानी के अभाव में खेत में दरारें आ गई हैं।
धान के खेतों में इस समय आधा फुट पानी होना चाहिए था, उनमें इस समय नमी तक दिखाई नहीं दे रही है। सूखे के कारण एक तरफ जहां फसल सूख रही है, वहीं जड़ में दीमक लगने की शिकायतें आने लगी हैं। किसान इस चौतरफा मार को झेल नहीं पा रहा है। गांव नारखी के किसान हाकिम सिंह अपना धान का खेत देखकर परेशान हैं। उनके समझ में नहीं आ रहा कि क्या करें जिससे फसल सुरक्षित रह सके। सूखे जैसे हालातों ने सभी को परेशान कर रखा है।
नारखी ब्लॉक के गांव गढ़ी हंसराम और नारखी धौंकल में किसानों ने तालाबों में भरा पानी भी खर्च कर डाला है। इन तालाबों को ग्राम पंचायत निधि से इसलिए भरवाया गया था कि गर्मी में ये तालाब पशु-पक्षियों की प्यास बुझाएंगे। लेकिन कुछ किसानों ने पंप सेट लगाकर तालाब का पानी अपने खेतों में पहुंचा दिया। उनकी इस कोशिश से फसल को तो कोई फायदा नहीं पहुंचा, तालाब में पानी जरूर कम हो गया जिससे पशु-पक्षियों की परेशानी बढ़ गई है। खेत में जो पानी पहुंचा वो दो दिन की धूप में उड़ गया।
मना करने पर भी नहीं माने किसान
गढ़ी हंसराम के ग्राम प्रधान राजेश प्रताप सिंह एवं नारखी धौंकल के ग्राम प्रधान राजीव वर्मा का कहना है कि उन्होंने कई बार ग्रामीणों से मना किया कि तालाब के पानी से फसलों की सिंचाई न करें। इसके बावजूद उन्होंने पंप सेट लगाकर तालाब के पानी का सिंचाई में उपयोग किया।