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जिले की नहरों का पानी नहीं जाएगा इटावा

जागरण संवाददाता, फतेहपुर : अब जिले की नहरों को आवंटित 2000 क्यूसेक पानी इटावा नहीं जाएगा, जिससे किस

By JagranEdited By: Published: Sun, 26 Mar 2017 01:00 AM (IST)Updated: Sun, 26 Mar 2017 01:00 AM (IST)
जिले की नहरों का पानी नहीं जाएगा इटावा
जिले की नहरों का पानी नहीं जाएगा इटावा

जागरण संवाददाता, फतेहपुर : अब जिले की नहरों को आवंटित 2000 क्यूसेक पानी इटावा नहीं जाएगा, जिससे किसानों को आंदोलन भी नहीं करना पड़ेगा। पहले यहां का आवंटित आधा पानी इटावा की नहरों को भेज दिया जाता था, जिससे किसानों की 20 हजार एकड़ भूमि ¨सचाई से वंचित रह जाती थी। किसान नहरों में पानी कम आने की वजह से आए दिन प्रदर्शन करते थे। बताते हैं कि यूपी में सपा की सरकार हटते ही यहां के किसानों को राहत मिलने लगी है। आवंटित पानी अब पूरा यहां की नहरों में आने लगा है। इससे टेल की नहरों में भी पहुंच रहा है। सपा शासनकाल में जिले को आवंटित पानी पूरा नहीं मिल पाता था, इससे टेल के किसानों की फसलें ¨सचाई से वंचित रह जाती थीं। रबी व खरीफ की फसलें सूख जाती थीं। बीते पांच साल में किसान पानी को लेकर आंदोलित रहते थे। मामले पर ¨सचाई विभाग के नोडल अधिकारी महेश ¨सह का कहना था कि पहले पानी कम जिले की नहरों में ऊपर के जनपदों में रोक लिया जाता था, जिससे किसानों की ¨सचाई नहीं हो पाता है।

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कुल नहरें - 284

फसलें सिंचित होने का लक्ष्य - 50 हजार एकड़

¨सचाई वंचित रहती थी - 20 हजार एकड़

आवंटित पानी - 2000 क्यूसेक

मिल पाता था - अधिकांश 1000 क्यूसेक

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पानी नहीं मिला तो होगा आंदोलन

- असोथर के किसान रामलाल, मलवां के अर¨वद ¨सह, शाह के सुनील शुक्ला, गुड्डू खान, जोनिहां के जगरुप लोधी का कहना था कि यदि अब नहरों में टेल तक पानी नहीं पहुंचा तो विभाग के अधिकारियों की खैर नहीं है। आरोप लगाया कि सपा शासन काल में जिले की नहरों को 700 से 1000 क्यूसेक पानी ही मिला पाता था।


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