मिटी धुंध जग चानन होया
अयोध्या: महान दार्शनिक एवं सिख परंपरा के प्रथम गुरु नानकदेव की 546वीं जयंती पर उनके प्रति अनुराग अर्
अयोध्या: महान दार्शनिक एवं सिख परंपरा के प्रथम गुरु नानकदेव की 546वीं जयंती पर उनके प्रति अनुराग अर्पित हुआ। पुलिस लाइंस स्थित गुरुद्वारा दुख निवारण में भोर से ही सबद-कीर्तन की छटा बिखरी। लखनऊ से आए रागी जत्थों सहित गुरु नानक एजूकेशनल सोसाइटी के बच्चों ने घंटों तक सबद-कीर्तन से श्रद्धालुओं को भाव विभोर कर दिया। कीर्तन प्रस्तुत करने वालों में सिख एवं ¨हदू बच्चों सहित मुस्लिम बच्चे भी रहे। सद्गुरु नानक प्रगट्या, मिटी घुंध जग चानन होया एवं अव्वल अल्ला नूर उपाया कुदरत के सब बंदे, एक नूर ते सब जग उपज्या कौन भले को मंदे जैसी पंक्तियां प्रथम गुरु की स्मृति एवं उनकी शिक्ष को जीवंत करने वाली रहीं। इस मौके पर प्रदेश के वन राज्य मंत्री तेजनारायण पांडेय पवन, गुरु नानक एजूकेशनल सोसाइटी के अध्यक्ष राजेंद्र ¨सह छाबड़ा, सचिव प्रतिपाल ¨सह पाली, सरदार गुरभेज ¨सह मोंगा, ज्ञानी महेंद्र ¨सह, बाबा महेंद्र ¨सह आदि सहित शहर के हजारों श्रद्धालु मौजूद रहे।