कौन रख रहा था पल-पल की गतिविधि पर नजर
इटावा, जागरण संवाददाता : सुशील मोहन पांडेय की हत्या कचहरी की चहल-पहल के बीच जिस ढंग से करके हमलावर प
इटावा, जागरण संवाददाता : सुशील मोहन पांडेय की हत्या कचहरी की चहल-पहल के बीच जिस ढंग से करके हमलावर पुलिस के सामने से भाग निकलने में कामयाब रहे उससे घटना को शूटरों द्वारा अंजाम दिए जाने का अंदेशा जताया जा रहा है। शूटरों ने घटना को अंजाम देने से पहले होमवर्क किया होगा और उसके बाद योजनाबद्ध ढंग से अमल किया। इस बीच कोई ऐसा शख्स रहा जो सुशील की पल-पल की गतिविधि पर नजर रख रहा था।
कचहरी आने-जाने वाले छह रास्तों में से सुशील किस रास्ते से निकलने वाला है, कितनी देर तक वकील के बस्ते पर है, बस्ते से कितनी देर बाद उठा..हर गतिविधि पर कोई
टकटकी लगाकर नजर रख रहा था। शक के आधार पर देखें तो सुशील किस रास्ते से निकलने को आगे बढ़ा है, बाइक की दिशा तय होने की जानकारी चंद मिनट पहले ही शूटरों को करा दी गई होगी। तभी वे कचहरी गेट से चंद कदमों की दूरी पर घात लगाकर खड़े हो गए होंगे। इस रास्ते के अलावा कचहरी के पांच अन्य रास्तों में नीरज केंटीन होकर, एसएसपी कार्यालय होकर, जिला निर्वाचन कार्यालय होकर, दस न्यायालय कक्ष होते हुए अंबेडकर चौराहा की तरफ और एसएसपी के आवास के पीछे से होकर रास्ता है। इनमें से दस न्यायालय कक्ष होकर अंबेडकर चौराहा को जाने वाले रास्ते को छोड़कर बाकी पांच रास्तों से कौन आ-जा रहा है, इस पर कचहरी हवालात की पुलिया पर खड़े होकर नजर रखी जा सकती है। गौरतलब है कि इसी पुलिया से चंद कदमों की दूरी पर ही सुबोध द्विवेदी का बस्ता है। सवाल उठता है कि क्या इसी पुलिया पर मौजूद उस शख्स द्वारा पल-पल की गतिविधि पर नजर रखते हुए उसकी जानकारी शूटरों तक पहुंचाई जा रही थी।