इटावा के इंजीनियरिंग कॉलेज में रैगिंग, छात्र ने हास्टल छोड़ा
जागरण संवाददाता, इटावा : इटावा के कृषि इंजीनियरिंग कालेज पर रैगिंग का आरोप लगा मेरठ निवासी बी.टेक छात्र आभाष ने हास्टल छोड़ दिया है। हालांकि कॉलेज इससे इन्कार कर रहा है लेकिन साथ ही जांच कराने को भी तैयार है। डीन ने छात्र के पिता व मुजफ्फरनगर के डिप्टी जेलर पर उन्हें धमकाने का आरोप लगाते हुए कहा कि आभाष तीन दिन का अवकाश लेकर गया था। करीब एक पखवारा गुजरने के बाद भी नहीं आया। रैगिंग मामले में उसे पिता के साथ पक्ष रखने के लिए बुलाया था लेकिन समय बीतने के बाद भी वे नहीं आये। इस मसले पर छात्रों ने डीन का घेराव किया।
आभास रघुवंशी के पिता अमरजीत सिंह ने बेटे के हास्टल छोड़कर जाने पर नाराजगी जताते हुए 17 अगस्त की रात वार्डन सत्येंद्र पाल सिंह से मोबाइल पर बात की थी। सत्येंद्र के मुताबिक अमरजीत ने आभाष के साथ रैगिंग का आरोप लगाते हुए नाराजगी जताई और उन्हें व डीन को धमकाया।
डीन जेपी यादव ने रैगिंग से इन्कार करते हुए कहा कि कालेज रैगिंग मुक्त है। आभास 17 अगस्त की रात में ही घर जाना चाहता था, लेकिन उसने वजह नहीं बताई थी। इसलिए रात में नहीं जाने दिया गया। अगले दिन उसने तीन दिन के अवकाश की अनुमति मांगी। इस पर स्वीकृति दे दी गई थी। वह तीन दिन बाद कालेज नहीं आया। उसके पिता की तरफ से 28 अगस्त को एक पत्र प्राप्त हुआ, जिसमें आभाष के साथ रैगिंग का आरोप लगाते हुए डीएम व एसएसपी को भी पत्र भेजा गया था। इसी आलोक में आभाष व अमरजीत को पत्र भेजकर साक्ष्यों के साथ पक्ष रखने के लिए 31 अगस्त को बुलाया गया लेकिन वे नहीं आए।
डीन ने बताया कि कालेज में 650 विद्यार्थी हैं। इनमें प्रथम वर्ष के छात्रों का खासतौर पर ध्यान रखा जाता है। उनके आवास की व्यवस्था प्रोफेसर्स आवास के बगल में है। इसके बावजूद रैगिंग के आरोप को गंभीरता से लिया गया। पूरे मामले की जांच की जा रही है।
छात्र के रूम पार्टनर प्रशांत चौहान ने बताया कि आभास का कहना था उसे यहां अच्छा नहीं लगता, इसलिए उसने हॉस्टल छोड़ने का फैसला लिया। दूसरी तरफ छात्र के हॉस्टल छोड़कर चले जाने के मसले को लेकर बड़ी संख्या में छात्रों ने डीन के आवास का घेराव किया। डीन ने छात्रों को शांत करने की कोशिश की तो तनाव की स्थिति पैदा हो गई। अमरजीत से फोन पर बात करने की कोशिश की गई लेकिन वह उपलब्ध नहीं हो सके।