जानलेवा हमले में सात वर्ष का कारावास, जुर्माना भी
जागरण संवाददाता, कासगंज: अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश त्वरित न्यायालय कक्ष संख्या दो ने जान से मारने
जागरण संवाददाता, कासगंज: अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश त्वरित न्यायालय कक्ष संख्या दो ने जान से मारने की नीयत से गोली मारने के मामले में आरोपी को दोष सिद्ध पाते हुए सात साल का कारावास और 25 हजार रुपये बतौर जुर्माना अदा करने के आदेश दिए हैं। अभियोजन पक्ष के अनुसार, थाना अमांपुर क्षेत्र के गांव यादगारपुर निवासी लज्जाराम पुत्र नेकराम 17 जनवरी 2011 को अपने मकान का छज्जा निकाल रहा था। गांव के ही श्रीपाल ने विरोध करते हुए छज्जा निकालने का विरोध किया। क्षुब्ध होकर सत्यभान पुत्र महेंद्र पाल ने अमर सिंह पुत्र रतीराम के सहयोग से श्रीपाल के लड़के योगेंद्र को जान से मारने की नीयत से गोली मार दी। गोली लगने से वह गंभीर रूप से घायल हो गया। घटना की प्राथमिकी श्रीपाल ने थाना अमांपुर में दर्ज कराई। प्रकरण की विवेचना करते हुए विवेचक ने सत्यभान और अमर सिंह के विरुद्ध जान से मारने की धारा के तहत आरोप पत्र न्यायालय में दाखिल किया। न्यायालय में आरोपियों ने आरोप से इन्कार करते हुए परीक्षण की मांग की। अभियोजन पक्ष की ओर से पैरवी करते हुए सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता अनूप कुमार वर्मा ने आरोप के समर्थन में गवाहों को प्रस्तुत किया। मुकदमे के दौरान अमर सिंह की मृत्यु हो गई। दोनों पक्षों की बहस और पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्य के अनुसार अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश त्वरित न्यायालय कक्ष संख्या दो धीरेंद्र कुमार ने सत्यभान को जान से मारने की धारा के तहत दोष सिद्ध पाते हुए सजा और जुर्माना सुनाया। जुर्माने की 25 हजार रुपये की धनराशि में से बीस हजार बतौर प्रतिकर योगेंद्र पाल को देय होगी।