सुखा राहत का तहसील में है 1 करोड़ 41 लाख, किसान परेशान
देवरिया : सुखा राहत की धनराशि को लेकर किसान हर रोज तहसील का चक्कर काट रहे है। आंदोलनों में सूखा राहत
देवरिया : सुखा राहत की धनराशि को लेकर किसान हर रोज तहसील का चक्कर काट रहे है। आंदोलनों में सूखा राहत की धनराशि प्रमुख मुद्दा रह रहा है। तहसील में सुखा राहत का 1 करोड़ 41 लाख रुपये पड़ा है, जिसे तहसील प्रशासन किसानों के खाता में ट्रांसफर नहीं कर सका है। हालांकि तहसील प्रशासन लेखपालों के आंदोलन पर चले जाने को इसका कारण बता रहा है। तहसील से मिली जानकारी के अनुसार 40 लाख, 15 करोड़ 41 लाख, 1 करोड़ 41 लाख, की धनराशि क्रमश: शासन से आई, जिसमें 15 करोड़ 41 हजार और 40 लाख की रकम किसानों के खाते में भेज दी गई, जबकि 1 करोड़ व 41 लाख की रकम बांटने के समय लेखपाल आंदोलन पर चले गए। उधर किसान लगातार खाते में धनराशि भेजने के लिए आंदोलन कर रहे हैं। तहसीलदार ओपी गोस्वामी ने कहा कि लेखपालों के आंदोलन पर चले जाने से मामला बिगड़ गया नहीं तो अभी तक शेष रुपये को भी किसानों के खाता में भेज दिया गया होता।
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इन किसानों को नहीं मिली है सूखा राहत की धनराशि
भाटपाररानी, देवरिया: तहसील क्षेत्र के सैकड़ों ऐसे किसान हैं, जो सूखा राहत की धनराशि के इन्तजार में हैं। कभी सरकार को तो कभी तहसील कर्मियों को कोस रहे हैं। मदनचक निवासी रामसागर पुत्र धर्मदेव ने कहा कि मुझे तो तहसील में यह भी नहीं बताया जाता की सूखा राहत का धन मिलेगा की नहीं। तहसील का चक्कर लगाते-लगाते थक गया हूं। गुलाब चंद्र शर्मा पुत्र ¨वध्याचल निवासी कथौड़ी ने कहा कि तहसील के टाल-मटोल रवैये से किसान परेशान है। इसके अलावा कन्हैया पांडेय बभनौली, पारस गोंड चनुकी टोला बाईपर, दीनानाथ पांडेय बभनौली, श्यामकांति देवी चनुकी, सुनैना देवी करमुवा, विद्यावती करमुवा, शंभूनाथ यादव बजौली, त्रिलोकी पांडेय बभनौली, रमेश पांडेय चनुकी, सोनू पांडेय बभनौली, जयनरायण बभनौली, जयप्रकाश पांडेय बभनौली, ओमप्रकाश चनुकी आदि सूखा राहत की धनराशि के लिए तहसील का दो माह से चक्कर काट रहे हैं।