ग्रामीणों की गुहार, गांव बचाओ सरकार
देवरिया : क्षेत्र के सीमावर्ती गांव नगवां की तरफ राप्ती की कटान बढ़ती जा रही है। इसको लेकर गांव के ल
देवरिया : क्षेत्र के सीमावर्ती गांव नगवां की तरफ राप्ती की कटान बढ़ती जा रही है। इसको लेकर गांव के लोग काफी परेशान हैं। उनका कहना है कि गांव को बचाने के लिए तटबंध को और बढ़ाया जाना आवश्यक है। वहीं ग्रामीणों के गुहार के बावजूद विभाग कई माह से टालमटोल कर रहा है।
गांव की प्रधान अर्चना देवी ने उपजिलाधिकारी के माध्यम से बाढ़ विभाग को कई बार पत्र भेजा। बावजूद इसके विभाग टालमटोल करता है। पत्र में उन्होंने कहा कि गांव की तरफ राप्ती का कटान तेजी के साथ बढ़ता जा रहा है। अगर तटबंधों की मरम्मत और बंधों की लंबाई बढ़ा दी जाय, तो गांव की सुरक्षा हो सकती है। नगवां-दबला बांध का अस्तित्व मिट चुका है। यदि इस बंधे का नये रूप से विस्तार किया जाय, तो गांव के अलावा लोक निर्माण की सड़क भी बच सकती है। गौरतलब है कि 1998 और 2000 बाढ़ के दौरान इलाके को पूरी तरह राप्ती ने आगोश में ले लिया था। बावजूद इसके एक दशक बीत गए, गांव बचाने के लिए बालू की भिति बनाकर बरसात के समय रक्षा की जाती है। इसके ग्रामीण सुदर्शन, कुंदन राव, हरिश्चंद्र राव, रमापति शुक्ल, डा.ऋषिकेश दूबे, भानुप्रताप राव, जनार्दन राव आदि ने बताया कि हर वर्ष बरसात के समय गांव के लोग डूबने के लिए तैयार रहते हैं। विभाग शिकायत करने के बाद भी चाहे वह सिचाई विभाग यहां लोकनिर्माण इनकी नजरें भी यहां नहीं पड़ती । कागजी तौर पर बचाव कार्य दिखाकर विभाग इतिश्री कर लेता है। इस बारे में पूछे जाने पर उपजिलाधिकारी राकेश सिंह ने कहा कि ग्रामीणों का पत्र मिला है। विभाग को कार्रवाई हेतु भेजा जा रहा है।