यूपीपीसीएल ने ठेकेदार की सिर्फ जमानत राशि काटी
जागरण संवाददाता, चित्रकूट : योगी सरकार में भी कार्यदायी संस्थाओं ने अपने पुराने ढर्रे को नहीं छोड़ा ह
जागरण संवाददाता, चित्रकूट : योगी सरकार में भी कार्यदायी संस्थाओं ने अपने पुराने ढर्रे को नहीं छोड़ा है। जांच रिपोर्ट और अधिकारियों के आदेश संस्थाओं को कोई मायने नहीं है तभी तो यूपीपीसीएल सीना जोरी के साथ घटिया निर्माण करने वाले ठेकेदार के खिलाफ कार्रवाई नही कर रहा है। जबकि मुख्य विकास अधिकारी ने खुद अपने सामने घटिया निर्माण की तकनीकी टीम से जांच कराकर चार दिन पहले ठेकेदार के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराने और काली सूची में डालने के आदेश दिए थे।
कई दिन बीतने के बाद भी कार्यदायी संस्था की कार्यप्रणाली ढुलमुल होना यह इशारा करती है कि अभी योगी सरकार में भी उन पर कोई असर नहीं हुआ है। बता दें कि बंधोईन गांव से बरवारा तक नहर पटरी सड़क का बुंदेलखंड विकास निधि (जिलांश) से निर्माण हो रहा है। इस सड़क को यूपी प्रोजेक्ट्स कारपोरेशन लिमिटेड निर्माण इकाई-13 बांदा बना रही है। करीबी एक करोड़ रुपए की लागत से बन रही सड़क का काफी घटिया निर्माण हो रहा था। बीती 17 अप्रैल को सड़क के घटिया निर्माण की शिकायत सांसद भैरों प्रसाद मिश्र ने खुद बैठकर सड़क की जांच मुख्य विकास अधिकारी ए. दिनेश कुमार, अधिशाषी अभियंता लोक निर्माण विभाग प्रांतीय खंड एके ¨सह और मनरेगा श्रमायुक्त विनय कुमार श्रीवास्तव से कराई थी। जिसमें अधिकारियों ने काफी घटिया निर्माण पाया। सीडीओ ए. दिनेश कुमार ने दूसरे दिन यूपीपीसीएल को पत्र लिखकर निर्देश दिए थे कि सड़क बनाने वाले ठेकेदार के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर काली सूची में डालें। साथ ही एक पत्र में कार्यदायी संस्था से कई ¨बदुओं पर चार दिन के अंदर स्पष्टीकरण मांगा था। चार दिन बीतने के बाद भी संस्था ने सीडीओ के पत्र पर कोई कार्यवाही नही की। कार्यदायी संस्था के परियोजना प्रबंधक सीएल मौर्या की मानें तो कार्यवाही के नाम पर सिर्फ ठेकेदार की जमानत राशि काटी गई है और उसको हटाने की प्रक्रिया चल रही है।