कागजों तक सिमटा डीजीपी का अभियान
बुलंदशहर : जिले में डीजीपी का आदेश बेअसर साबित हो रहा है। एक महीने तक चलने वाले अतिक्रमण विरोधी अभिय
बुलंदशहर : जिले में डीजीपी का आदेश बेअसर साबित हो रहा है। एक महीने तक चलने वाले अतिक्रमण विरोधी अभियान को 20 दिन से ज्यादा बीत गए लेकिन शहर की सूरत में जरा सा भी बदलाव नहीं दिख रहा है। कागज में रोज कार्रवाई हो रही है, जमीन पर नहीं।
गत पांच मई को डीजीपी कार्यालय से सभी जिले के पुलिस प्रमुखों को एक आदेश जारी किया गया था, जिसमें उन्हें नौ मई से अगले एक महीने तक अतिक्रमण के खिलाफ विशेष अभियान चलाने को कहा गया था। साथ ही डीआइजी और आइजी स्तर के अधिकारी को अभियान पर नजर रखने को कहा गया था। आदेश में स्पष्ट तौर पर कहा गया था कि अधिकारी पहले रात में सड़क की नाप लेंगे और फिर दिन में दोबारा नाप लेंगे। जिसके बाद दोनों नाप में आए अंतर को मुक्त कराने के लिए अभियान चलाएं। साथ ही पूरे जगह की वीडियोग्राफी कराएं जिसे एक साक्ष्य के रूप में पेश किया जा सके। वहीं स्कूल, अस्पताल, रोडवेज, शॉ¨पग मॉल और अन्य व्यावसायिक प्रतिष्ठानों के सामने स्थाई या अस्थाई अतिक्रमण करने वालों के खिलाफ विशेष एक्ट के तहत कार्रवाई की जाए जिसमें गुनहगार को छह महीने से पांच साल तक की कैद का प्रावधान है। इस अभियान को शुरू हुए बीस दिन से ऊपर हो गए लेकिन शहर के किसी हिस्से में तनिक भी इसका असर नहीं दिख रहा। सड़कों पर पसरा अतिक्रमण जस का तस कायम है। चाहे वह अंसारी रोड हो या डिप्टी गंज चौराहा सबकी स्थिति एक जैसी है। यही हाल मामन चौकी, साठा, मोती बाग रोड, चौक बाजार, पूरा बाजार, स्याना अड्डा और भूड़ रोड है जहां से अधिकारी आंख मूंदकर निकल जाते हैं। सच तो यह है कि इस काम में किसी की रुचि ही नहीं है। सूत्रों की मानें तो नगर पालिका भी पुलिस का सहयोग करने से कतरा रही है। हालांकि एसएसपी वैभव कृष्ण का दावा है कि पूरे जिले में अतिक्रमण विरोधी अभियान चल रहा है और अगले दस दिनों में इसका असर भी देखने को मिलेगा। उन्होंने बताया कि अब तक सिर्फ नगर क्षेत्र में सौ से अधिक लोगों पर जुर्माना किया जा चुका है।