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महोत्सव में सजी नृत्यों की 'रंगोली'

बाराबंकी : कथक और पारंपरिक लोकनृत्यों से सजी 'लोकनृत्य की रंगोली' कार्यक्रम में लोकनृत्यों के विविध

By Edited By: Published: Tue, 25 Oct 2016 12:30 AM (IST)Updated: Tue, 25 Oct 2016 12:30 AM (IST)
महोत्सव में सजी नृत्यों की 'रंगोली'

बाराबंकी : कथक और पारंपरिक लोकनृत्यों से सजी 'लोकनृत्य की रंगोली' कार्यक्रम में लोकनृत्यों के विविध रंग दिखे। नृत्य निर्देशिका प्रियंका ¨सह के निर्देशन में प्रस्तुत कार्यक्रम में कलाकारों ने अपनी प्रस्तुतियों से समां बांधा।

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कार्यक्रम की शुरुआत देवी गीत पर लोकनृत्य 'मैया चलो दीयना बार' से की। इसके बाद मंडप गीत 'हरे बांस मंडप छाए' मेंहदी गीत 'हरियाली के गोरे-गोरे हाथ' भावर गीत 'मन भावर सियाजी के संग' के अतिरिक्त विदाई, नकटा, सोहर, चौमासा, कजरी, ¨हडोला और होली का पारंपरिक लोकगीत 'आज ब्रज में होरी रे रसिया' प्रस्तुत किया। प्रियंका ¨सह, सरिता पाल, सुष्मिता मिश्र, दीप्ति कुमारी, छवि मौर्या, विकास अवस्थी और अंश रावत ने विभिन्न गीतों पर नृत्य प्रस्तुत किए। गायन रेखा मिश्रा और पूनम नेगी ने किया।

रबी गोष्ठी से किसान मेला का समापन

देवा : कृषि विभाग की ओर से देवा महोत्सव परिसर में सोमवार को रबी गोष्ठी हुई। इसी के साथ किसान मेला का समापन किया गया। मुख्य अतिथि अपर जिलाधिकारी अनिल कुमार ¨सह ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की।

उप कृषि निदेशक डॉ. एसपी ¨सह ने जैविक खेती एवं संतुलित उर्वरक के बारे में किसानों को जानकारी दी। उन्होंने किसानों से अनुरोध किया कि मृदा परीक्षण के आधार पर ही अपने खेत में उर्वरकों का प्रयोग करें। साथ ही कृषि विभाग की सुविधाएं प्राप्त करने के लिए ऑनलाइन पंजीकरण अनिवार्य रूप से कराने की जानकारी दी गई। मुख्य अतिथि अपर जिलाधिकारी ने कहा कि इस प्रकार के आयोजनों में बड़ी संख्या में प्रतिभाग लेकर तकनीकी जानकारी एवं लाभ अवश्य प्राप्त करें।


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