कौशल विकास ने बदल दी परवेज के घर की सूरत
बाराबंकी : कस्बा जैदपुर का रहने वाले परवेज अहमद को उसके पिता ने किसी तरह से पढ़ा लिखा तो दिया लेकिन
बाराबंकी : कस्बा जैदपुर का रहने वाले परवेज अहमद को उसके पिता ने किसी तरह से पढ़ा लिखा तो दिया लेकिन उसके अन्य छोटे भाई-बहनों को नहीं पढ़ा पा रहा था। परवेज ने कौशल विकास के तहत प्रशिक्षण लिया और उसे लखनऊ के एक बड़े माल में मैनेजर की नौकरी मिल गई। अब अपने मानदेय से न केवल अपने भाई-बहनों को ही नहीं पढा रहा, बल्कि घर की स्थिति भी बदल रहा है।
जिले के कस्बा जैदपुर का रहना वाला परवेज अहमद के घर की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी। परिवार में वह पांच भाई बहन है। पिता फेरी का कार्य करते थे, जिससे पांचों भाई बहन की शिक्षा आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं होने कारण पढ़ाई पूरी नहीं हो पा रही थी। परिवार पिता के फेरी के धंधे में हाथ बंटाने लगे। परिवार अत्यंत गरीबी से जीवन यापन कर रहा था। तभी अचानक परवेज आलम को सरकार द्वारा चलायी गयी उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के नि:शुल्क एवं रोजगारपरक प्रशिक्षण के संबंध में पता चला। जिसके बाद उसके मन में भी इस योजना से जुड़ने प्रबल इच्छा हुई। जिसके बाद बाराबंकी में स्थापित कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र में इंडिया स्किल इंस्टीट्यूट में जाकर अपने मन मुताबिक रिटेल के कोर्स में अपना रजिस्ट्रेशन करवाया। इसके बाद प्रशिक्षण केंद्र पर 90 दिन का प्रशिक्षण प्राप्त किया। प्रशिक्षण केंद्र द्वारा उसे माल बिग बजार में 7000 रुपये के वेतन पर रोजगार प्राप्त हुआ। छह माह के अनुभव के उपरांत उसका सेलेक्शन हुआ और वह मैनेजर के पद पर हुआ, जहां उसकी सेलरी 10,000 रुपये हो गयी है। अब पहले की अपेक्षा वह अपने परिवार एवं भाई बहनों की शिक्षा में मदद कर रहा है, घर की स्थिति भी बदल रही है।