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अभिलेख खंगाल वापस लौटी सीबीआइ टीम

बलरामपुर : पांच दिनों तक अभिलेख खंगालने के साथ ही सीबीआइ इंस्पेक्टर ने उसी के आधार पर कर्मचारियों से

By Edited By: Published: Sat, 24 Jan 2015 11:21 PM (IST)Updated: Sat, 24 Jan 2015 11:21 PM (IST)
अभिलेख खंगाल वापस लौटी सीबीआइ टीम

बलरामपुर : पांच दिनों तक अभिलेख खंगालने के साथ ही सीबीआइ इंस्पेक्टर ने उसी के आधार पर कर्मचारियों से पूछताछ की। कर्मचारियों से मनरेगा योजना के तहत व्यय किए गए बजट से संबंधित जानकारी भी एकत्र की है। शनिवार को सीबीआइ इंस्पेक्टर गणेश शंकर वापस लौट गए हैं। 28 जनवरी से 2010 तक के मनरेगा से कराए गए कार्यो व सामग्री खरीद की पत्रावलियों की जांच सीबीआइ द्वारा की जा रही है। इस अवधि में जिले में करोड़ों का घोटाला हुआ है। घोटाले की जांच सीबीआइ द्वारा की जा रही है। सीबीआइ इंस्पेक्टर गणेश शंकर मंगलवार को जिले में आए और सदर विकास खंड परिसर में अपना अस्थाई कार्यालय बनाया। अस्थाई कार्यालय पर ही जांच वाली अवधि में मनरेगा का कार्य देखने वाले कर्मियों से गहन पूछताछ की है। साथ ही उन गांवों की सूची तैयार की जा रही है। जिन गांवों में 40 लाख तक के कार्य हुए हैं। सीबीआइ के विवेचक घोटाले वाली अवधि में जिले में तैनात रहे डीएम, सीडीओ, पीडी, खंड विकास अधिकारियों की संपत्तियों को भी खंगालेगी। अभिलेख खंगालने के पश्चात गांवों में मनरेगा से कराए गए कार्यो का सत्यापन करेगी। साथ ही मनरेगा से खरीदी गई सामग्री का भी लेखा जोखा गांव में देखेगी। फिलहाल सीबीआइ के शनिवार लौट जाने से एक बार फिर जांच के दायरे में चल रहे लोगों ने राहत की सांस ली है। हालांकि अस्थाई कार्यालय परिसर के लोगों ने 28 फरवरी को सीबीआइ इंस्पेक्टर के आने की बात बताई है।


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