होर्डिंगों से गुलजार सड़कों के किनारे
बहराइच : जिला व क्षेत्र पंचायत चुनाव का बिगुल बजने के बाद मतदाताओं को रिझाने की होड़ में प्रत्याशी को
बहराइच : जिला व क्षेत्र पंचायत चुनाव का बिगुल बजने के बाद मतदाताओं को रिझाने की होड़ में प्रत्याशी कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहा है। होर्डिंग व पोस्टर से चौराहे सज गए हैं। बाइक तो कोई चार पहिला वाहनों के काफिले के साथ आम जनमानस में अपनी क्षमता को सिद्ध करने में जुटा है। समर्थक भी आंकड़ेबाजी में मस्त हैं। जातिगत समीकरण के अलावा अन्य दांव पेंच भी आजमाए जा रहे हैं। क्षेत्र में विकास की गंगा बहाने का नारा भी जोर शोर से चल रहा है।
विगत लोकसभा चुनाव की तर्ज पर प्रत्याशी व उनके समर्थक मोबाइल पर तरह-तरह के संदेश भी प्रसारित करने में जुटे हैं। हम बात करते हैं जिला पंचायत के वार्ड नंबर 28 के चुनाव की। यह सीट पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित है। इस वार्ड में कोटिया, औराही, सिसैया, गंगापुरवा, रमवापुरखुर्द, बंभौरी, तिकुरी, करेहना, फत्तेपुरवा, कोलैला, मुरौव्वा, पिपरा, कपरवल, बरूआबेहड़, बभनौटी शंकरपुर, बैकुंठा, एरिया, मेथौरा, भगवानपुर सहित 20 ग्राम पंचायतें हैं। 20 ग्राम पंचायतों के करीब 33500 मतदाता हैं, जिसमें सामान्य वर्ग के करीब 11 हजार 500 हजार, पिछड़ा वर्ग 16 हजार 500 व अनुसूचित जाति के करीब साढ़े पांच हजार मतदाता है। प्रत्याशिता की दौड़ में एक वर्तमान जिला पंचायत सदस्य सहित करीब एक दर्जन लोग हैं। प्रत्याशी अपने गांव के साथ आसपास के गांवों पर अपना वर्चस्व बताकर जीत की दौड़ में शामिल होना मान रहे हैं।
चुनाव के लिए उतरे करीब एक दर्जन प्रत्याशी मैदान में अपना दांव पेंच आजमा रहे हैं। प्रत्याशी अपने जाति-बिरादरी के साथ नात-रिश्तेदारों का हवाला देकर मतदाताओं को रिझाने की जुगत में लगे हैं। कोई अपने गांव से होने का तो कोई रिश्तेदारी का हवाला देकर अपने पक्ष में मतदान की दुहाई दे रहा है। बताते चलें कि इस वार्ड में सामान्य वर्ग के मतदाताओं की संख्या करीब दस हजार के लगभग है, जिसमें ब्राह्मणों की संख्या अधिक है। फिलहाल आगामी चुनाव में पिछड़े वर्ग के मतदाताओं के साथ ब्राह्मण मतदाताओं की भूमिका अहम मानी जा रही है।