जायरीन के ठहरने को अब एसी कक्ष भी
बहराइच : भीषण गर्मी के दौरान दरगाह शरीफ में लगने वाले ऐतिहासिक जेठ मेले में आने वाले जायरीन इस बार वातानुकूलित कक्षों में भी ठहर सकेंगे।
सुन्नी सेन्ट्रल वक्फ बोर्ड द्वारा संचालित हजरत सैय्यद सालार मसऊद गाजी रहमतुल्लाह अलैह की यहां एक हजार साल से अधिक पुरानी दरगाह है। इस दरगाह में सैकड़ों सालों से जेठ माह में बाले मियां का मेला लगता है। लगभग डेढ़ माह चलने वाले इस मेले में देश के कोने-कोने से जायरीन आते हैं। यूं तो यह जायरीन अपने-अपने परम्परागत स्थानों पर डेरा डाल कर रहते हैं। लगभग पांच किमी. क्षेत्र में मेला टिकता है। इस वर्ष मेले में आये जायरीन की सुविधा के लिए दरगाह प्रबंधतंत्र ने तमाम तरह की सुविधाएं देने का मंसूबा बनाया है। प्रबंध समिति के नायब सदर सैय्यद शमशाद अहमद एडवोकेट ने बताया कि मशहूर जंजीरी दरवाजे के बगल दस वातानुकूलित कक्ष बनवाये गये हैं। इन कक्षों में जेठ मेले में आने वाले जायरीन बहुत ही रियायती खर्च पर टिक सकते हैं। उन्होंने बताया कि इसके अलावा जंजीरी और नाल दरवाजे के बीच पुराने नाले के ऊपर संगमरमर युक्त चबूतरा जायरीन के बैठने के लिए बनवाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि दरगाह शरीफ सौन्दर्य बढ़ाने का काम निरंतर जारी है। जंजीरी दरवाजे से नाल दरवाजे तक लगने वाले सभी दुकानों को हटवा दिया गया है ताकि जायरीन को आने जाने में किसी प्रकार की कोई असुविधा न हो। ओएसडी हाजी खुर्शीद अनवर रिजवी दरगाह शरीफ में चल रहे निर्माण कार्यो की रोज समीक्षा कर रहे हैं।