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ऑनलाइन के पचड़े में अब फंसी किसानी

अंबेडकरनगर : विभिन्न आपदाओं के मारे किसानों को ऑनलाइन के पचरे के चलते आवश्यकता के हिसाब से रबी की बो

By Edited By: Published: Thu, 26 Nov 2015 12:22 AM (IST)Updated: Thu, 26 Nov 2015 12:22 AM (IST)
ऑनलाइन के पचड़े में अब फंसी किसानी

अंबेडकरनगर : विभिन्न आपदाओं के मारे किसानों को ऑनलाइन के पचरे के चलते आवश्यकता के हिसाब से रबी की बोवाई के लिए गेहूं का बीज भी उपलब्ध नहीं हो रहा है। जलालपुर व भियांव बीज गोदामों पर बीज लेने के लिए किसान भटक रहे है। दिन भर कतार में लगे रहने के बाद अनपढ़ लघु कृषक ऑनलाइन के नियम कानून जानने के बाद निराश लौट रहे है। कृषक रामलखन निवासी पैकोलिया ने बताया कि दो बोरी गेहूं का बीज गोदाम रफीगंज में नहीं मिल पाया। मंगलवार को रामलखन ने जलालपुर स्थित बीज गोदाम पर नकद बिना छूट के 1200 रुपये प्रति ¨क्वटल गेहूं का बीज पा सका। शुभम द्विवेदी निवासी सलाहुद्दीनपुर, लालमणि तिवारी निवासी गोमनपुर, राममिलन निवासी गोमनपुर समेत कई दर्जन किसानों का कहना है कि सरकार की ऑनलाइन नीति के पचरे के चलते काफी दिक्कतें हो रही है। मालूम हो कि माह नवंबर के आखिरी सप्ताह में गेहूं बोवाई के समय में अब तक जलालपुर ब्लॉक के 120 गांव के केवल 133 किसान आज तक महज 55 ¨क्वटल गेहूं का बीज खरीद सके।

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-मानक बने रोड़ा-

जलालपुर : परेशानी का सबब बन गए ऑनलाइन सिस्टम से दो बीघे से कम की बोआई के लिए दूसरे किसी व्यक्ति को साझा करना पड़ेगा। मगर छूट का पैसा किसी एक ही के खाता में जाएगा। समस्या के चलते छोटे किसानों को दिक्कत हो रही है।

-नियमों का पालन जरूरी-

जलालपुर : गोदाम प्रभारी सहायक विकास अधिकारी इंद्रराज प्रसाद का कहना है कि बीज बिक्री नियम कानून से ही होगी। एक एकड़ भूमि पर ऑनलाइन के बाद केवल 40 किलोग्राम की बोरी का गेहूं बीज मिलेगा। वहीं उसी खतौनी पर दोबारा नहीं मिलेगा।


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