बसपा नेता शमी हत्याकांड में मऊआइमा के इंस्पेक्टर सस्पेंड
एसएसपी शलभ माथुर ने बताया कि हत्याकांड के बाद स्थिति को संभालने और आरोपियों की गिरफ्तारी में देरी पर निरीक्षक को निलंबित किया गया है।
By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Sat, 25 Mar 2017 11:39 AM (IST)Updated: Sat, 25 Mar 2017 11:49 AM (IST)
इलाहाबाद (जेएनएन)। संगमनगरी के मऊआइमा में बहुजन समाज पार्टी के नेता की हत्या के मामले में कल इंस्पेक्टर को निलंबित कर दिया गया। मऊआइमा के पूर्व ब्लाक प्रमुख मो. शमी हत्याकांड में इंस्पेक्टर ब्रजेश कुमार बघेल को निलंबित कर दिया गया है।
एसएसपी शलभ माथुर ने बताया कि हत्याकांड के बाद स्थिति को संभालने और आरोपियों की गिरफ्तारी में देरी पर निरीक्षक को निलंबित किया गया है। इस बीच मुख्य संदिग्ध जाबिर की लोकेशन गुजरात में मिली है। उसको पनाह देने वाले के साथ शमी के कुछ रिश्तेदारों से पूछताछ के बाद पुलिस की एक टीम गुजरात रवाना हो गई। देर रात पुलिस ने निसार के रिश्तेदारों से पूछताछ की। निसार के ठिकाने के बारे में पता चला तो क्राइम ब्रांच की दो टीमें छापामारी के लिए निकल पड़ीं।
चार बार मऊआइमा के ब्लाक प्रमुख रहे बसपा नेता मोहम्मद शमी को छह दिन पहले रविवार की रात गोलियों से भून दिया गया था। पुलिस रिकार्ड में हिस्ट्रीशीटर और 30 से ज्यादा मामलों में नामजद शमी की हत्या के बाद से पूरे इलाके में तनाव है। पुलिस, आरएएफ और पीएसी अब भी मुस्तैद हैं। क्राइम ब्रांच ने साक्ष्य जुटाने के बाद साफ कर दिया कि शमी की हत्या में नामजद आरोपी जाबिर और उसके साले निसार का हाथ है। दोनों दुबाही गांव के ही रहने वाले हैं।
जाबिर को पिस्टल देने वाले युवक को पुलिस प्रतापगढ़ से उठा चुकी है। हत्या के बाद जाबिर और निसार को प्रतापगढ़ तक पहुंचाने वाला रुखसार नामक युवक भी पुलिस को मिल गया है। रिश्तेदारों से पूछताछ और मोबाइल लोकेशन पर पुलिस को सुराग मिला कि जाबिर गुजरात पहुंच गया है। सटीक सूचना मिलने के बाद पुलिस की टीम रात में गुजरात के लिए रवाना हो गई।
निसार के बार में भी पुलिस को ठोस सुराग मिले हैं। उसकी गिरफ्तारी के लिए एक टीम लखनऊ तो दूसरी सुल्तानपुर गई है। सीओ आलोक मिश्र का कहना है कि दबिश दी जा रही है। हत्याकांड को लेकर परिजन और समर्थकों ने शुक्रवार को भी थाने के सामने काफी देर तक धरना-प्रदर्शन किया। प्रकरण में मऊआइमा के मौजूदा ब्लाक प्रमुख सुधीर मौर्य व अभिषेक यादव को भी आरोपी बनाया गया है। उनकी गिरफ्तारी भी नहीं हो सकी है।
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