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आकर्षक मूर्तियों के साथ बन रहे भव्य पंडाल

जागरण संवाददाता, इलाहाबाद : उत्सव व पर्वो के केंद्र तीर्थराज प्रयाग में इन दिनों गणेशोत्सव की तैयारी

By Edited By: Published: Tue, 30 Aug 2016 07:20 PM (IST)Updated: Tue, 30 Aug 2016 07:20 PM (IST)
आकर्षक मूर्तियों के साथ बन रहे भव्य पंडाल

जागरण संवाददाता, इलाहाबाद : उत्सव व पर्वो के केंद्र तीर्थराज प्रयाग में इन दिनों गणेशोत्सव की तैयारी जोर-शोर से चल रही है। भव्य पंडाल बन रहे हैं। साथ ही मूर्तिकार प्रथम पूज्य की मूर्तियों को आकर्षण स्वरूप देने में व्यस्त हैं। प्रयाग में गणेश पूजा की शुरुआत आजादी के कुछ साल बाद दारागंज मुहल्ले में गई थी। मराठी समुदाय ने सार्वजनिक तौर पर गणेशोत्सव मनाना शुरू किया। धीरे-धीरे इससे आम जनमानस का जुड़ाव हुआ। अब गणेश पूजा मराठी से अधिक दूसरे समुदाय के लोग करते हैं।

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इस बार भाद्रशुक्ल पक्ष की चतुर्थी विनायकी वरद श्रीगणेश चतुर्थी पांच सितंबर को पड़ रही है। इसी दिन से विघ्न विनाशक के पूजन का सिलसिला आरंभ हो जाएगा। प्रयाग में गणेश पूजा की बात की जाए तो इसका सिलसिला 1957 को शुरू हुआ। दारागंज निवासी अधिवक्ता रामचंद्र गोड़बोले व बालाजी पाठक ने इसकी शुरुआत की। पूजा के लिए अलोपीबाग में पंजाबी कालोनी के सामने सेना से पांच हजार वर्ग गज जमीन लीज पर ली गई। तब यहां मराठियों के तीन सौ परिवार रहते थे। धीरे-धीरे गणेश पूजा का विस्तार हुआ और नैनी, मीरापुर, चौक, बैरहना सहित अनेक मुहल्लों में गणेश पूजा होने लगी। पिछले कुछ सालों से लगभग तीन सौ स्थानों पर गणेशोत्सव मनाया जाता है। अब मराठी भाषी पहले की भांति नहीं हैं, लेकिन दारागंज, कीडगंज, झूंसी, नैनी, चौक, मीरापुर, करेली, सिविल लाइंस, गोविंदपुर मुहल्ले में कई परिवार रहते हैं। महाराष्ट्र लोकसेवा मंडल के वरिष्ठ सदस्य सतीश पुराणिक का कहना है कि गणेश पूजा पहले की भांति भव्यता से की जाती है। घरों में भी और सार्वजनिक तौर पर भी।

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दो से 40 हजार तक की प्रतिमा

इलाहाबाद : गणपति की प्रतिमाओं को अंतिम रूप दिया जा रहा है। अलोपीबाग, दारागंज, भारद्वाज पार्क, कीडगंज व घूरपुर, डांडी, बैरहना सहित अनेक क्षेत्रों में गणपति की प्रतिमाएं स्थापित होंगी। बाजार में दो से 10 फुट ऊंची प्रतिमा बनाई जा रही है। दो फुट ऊंची प्रतिमा की कीमत दो हजार रुपये है, जबकि 10 फुट ऊंची प्रतिमा 40 हजार रुपये कीमती। कोलकाता के मूल निवासी मूर्तिकार सुबीर सरकार 20 साल से यहां आ रहे हैं। वह मां दुर्गा की प्रतिमाएं भी बनाते हैं। बाजार में डिमांड के बारे में बारे में बताया कि अब आस्थावान कलात्मक मूर्तियों की मांग अधिक करते हैं। इस बार पान के पत्ते व विशाल सिंहासन पर आसीन गणपति की प्रतिमा की मांग अधिक है।

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जोर शोर से तैयारी में जुटे हैं भक्त

जासं, इलाहाबाद : गणेश महोत्सव को लेकर जोर-शोर से तैयारी की जा रही है। भक्त इसमें जुटे हैं। श्रीगणपति महोत्सव एवं शोभा यात्रा समित की ओर से करैलाबाग कालोनी में मूर्ति की स्थापना पांच सितंबर को होगी। संयोजक अखिलेश सहाय ने बताया कि 15 सितंबर तक चलने वाले महोत्सव में प्रतिदिन विविध कार्यक्रम होंगे। सिद्धि विनायक कमेटी की ओर से गणेश महोत्सव का भव्य आयोजन होगा। संयोजक बब्बन दुबे ने बताया कि डांडी बाजार में पांच सितंबर को गणपति की प्रतिमा स्थापित होगी। सार्वजनिक गणेश महोत्सव पुराना कटरा संयोजक आशीष पांडेय ने बताया कि महोत्सव पांच दिवसीय होगा। पांच सितंबर को गणपति की मूर्ति स्थापित कर भजन-कीर्तन का आयोजन होगा। महाराष्ट्र लोकसेवा मंडल सांस्कृतिक प्रतियोगिता भी आयोजित कराएगा। संयोजक सतीश पुराणिक व विजय सतभाई ने बताया कि 12 वीं तक के विद्यार्थियों के लिए 'सोशल मीडिया असामाजिक हो गया है' विषयक 18 वीं श्री बीजी खेर स्मारक वाद-विवाद प्रतियोगिता भी होगी। इसमें प्रतिभाग के लिए चार सितंबर तक आवेदन किया जा सकता है।


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