भूकंप पैकेज -- ..और कक्षा से बाहर भागे बच्चे
जासं, इलाहाबाद : मैम मेरी बेंच हिल रही है। गर्ल्स हाईस्कूल एंड कालेज में इंटर की छात्रा नंदिनी शाही
जासं, इलाहाबाद : मैम मेरी बेंच हिल रही है। गर्ल्स हाईस्कूल एंड कालेज में इंटर की छात्रा नंदिनी शाही, सताक्षी सोनका की बात पूरी हो नहीं पायी थी कि पूरी कक्षा की छात्राएं यही शोर मचाने लगीं। देखते ही देखते हर कक्षा से यही शोर उठने लगा। छात्राएं व शिक्षिकाएं सकते में। इसी बीच शिक्षिका अनुरिता द्विवेदी परिसर में दौड़ लगाते हुए सबसे बाहर निकलने को कहती हैं। बोली बाहर निकलो भूकंप आया है। प्रधानाचार्या डॉ. विनीता इसूबियस माइक थामकर हर शिक्षिका से छात्राओं को बाहर निकालने का निर्देश देती हैं। इसके बाद सभी छात्राएं दौड़ लगाते हुए मैदान में एकत्रित हो जाती हैं। कोई बस्ता लेकर बाहर आता है, किसी के हाथ में किताबें होती है। कुछ खाली हाथ मैदान में एकत्रित होती हैं। भयभीत छात्राओं को हौसला बढ़ाते हुए प्रधानाचार्य उनसे ईश्वर को याद करने को कहती हैं। आधा घंटा बीतने के बाद सबको पुन: कक्षा में भेजा जाता है।
शनिवार को आए भूकंप से हर कोई भयभीत रहा। सबसे अधिक दिक्कत बच्चों को हुई, उनकी समझ में नहीं आ रहा था कि धरती हिल क्यों रही है। भूकंप आने पर प्राथमिक विद्यालय स्टैनली रोड में शिक्षिकाएं शोर मचाते हुए बच्चों को बाहर निकलने को कहती हैं। घटना से अनभिज्ञ कक्षा दो का छात्र अर्पित भागने के बजाय पूछता है टीचर जी कहां आया है भूकंप? उसके सवाल को अनदेखा करते हुए शिक्षिका डॉ. रूबी ओझा तेजी से उसकी ओर लपकते हुए हाथ पकड़कर बिल्डिंग के बाहर निकाल लायीं। हर बच्चे को मैदान में लाकर जमीन में बैठने को कहती हैं। बच्चे बैठ तो जाते हैं, परंतु क्या हो रहा है उनकी समझ में नहीं आता। कुछ ऐसा ही नजारा ज्वाला देवी सरस्वती इंटरमीडिएट कालेज सिविल लाइंस का रहा। जहां भूकंप का झटका महसूस होने पर सारे छात्रों को कक्षा से बाहर निकाल लिया जाता है। भूकंप के झटके से भयभीत छात्रों को प्रधानाचार्य प्रदीप त्रिपाठी हौसला बढ़ाते हैं। सर्वार्य इंटर कालेज के प्रधानाचार्य डॉ. मुरारजी त्रिपाठी भूकंप का झटका लगते ही छात्रों को बाहर निकलने का निर्देश देते हैं। हर बच्चा सुरक्षित रहे इसके लिए स्वयं सब पर नजर बनाए रखे। क्रांस्थवेट गर्ल्स कालेज की सारी छात्राओं को बाहर निकाल कर मैदान में एकत्रित किया गया। छात्राएं भयभीत न हों, उसके लिए प्रधानाचार्य डॉ. अंजू चतुर्वेदी ने सबको देशभक्ति गीत गाने के लिए प्रेरित किया। इससे छात्राओं का हौसला काफी बढ़ा। फिर 12 बजे के बाद सभी पुन: कक्षा में गई। भूकंप का झटका समाप्त होने के बाद स्कूलों में पढ़ाई लगभग बंद हो गई। छात्र-छात्राएं व शिक्षक-शिक्षिकाएं भूकंप के झटके को लेकर चर्चा में मशगूल हो गए। एहतियात के लिए अधिकतर विद्यालयों में अभिभावकों को बुलाकर समय से पहले छुट्टी कर दी गई।