Move to Jagran APP

घर में हो संस्कारों का बीजारोपण

By Edited By: Published: Fri, 22 Aug 2014 09:14 AM (IST)Updated: Fri, 22 Aug 2014 09:14 AM (IST)
घर में हो संस्कारों का बीजारोपण

जागरण संवाददाता, इलाहाबाद : संस्कार, यह वो पूंजी है जिसकी ख्वाहिश हर मां-बाप करता है। बच्चा संस्कारवान बनकर सफलता की बुलंदी की छुए, इसको लेकर घर में उसकी मजबूत नींव रखी जाती है। अभिभावक उनके खाने, पीने से लेकर बातचीत के तौर तरीकों पर बराबर नजर रखते हैं। अच्छे स्कूल में शिक्षा के लिए भेजते हैं। उनकी प्रतिभा को तराश कर व्यक्तित्व में निखार लाया जाता है। ऐसे बच्चों को धार्मिक, सामाजिक एवं घरेलू संस्कार से अवगत कराने के लिए दैनिक जागरण ने 'जागरण संस्कारशाला' का आयोजन कराया, जिसके विजेताओं को गुरुवार को होटल कान्हा श्याम में आयोजित भव्य समारोह में सम्मानित किया गया। मुख्य अतिथि बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव संजय सिन्हा ने उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले बच्चों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा कि स्वयं को आत्मनिर्भर बनाने की सोच लेकर ही सफलता की बुलंद छुई जा सकती है।

loksabha election banner

कहा कि छात्र का रोल मॉडल शिक्षक होता है। बच्चे अध्यापक के सानिध्य में रहकर उनके दिशा-निर्देश व शिक्षा को अपनाकर जीवन में आगे बढ़ते हैं। अध्यापकों को उसके मद्देनजर खुद को अनुशासन में बांधकर काम करना चाहिए। उन्होंने अभिभावकों से अपने विचार बच्चों पर थोपने के बजाय उन्हें खुद आगे बढ़ने की छूट देने की अपील की। दैनिक जागरण के महाप्रबंधक गोविंद श्रीवास्तव ने संस्कारशाला की उपयोगिता एवं उसके आयोजन के महत्व पर प्रकाश डाला। कहा कि नई पीढ़ी को भारतीय संस्कृति से जोड़कर उन्हें हर तरह से संस्कारवाना बनाना ही दैनिक जागरण का प्रमुख उद्देश्य है। कार्यक्रम में विजेता बच्चों के साथ विभिन्न विद्यालयों के प्रधानाचार्य, शिक्षक व अभिभावक मौजूद रहे। संचालन डॉ. निरंजन सिंह ने व दैनिक जागरण के ब्रांड मैनेजर दिव्यानंद ने आभार ज्ञापित किया।

----------

फोटो-सहित---शिक्षकों के बोल

हम अपने विद्यालय में बच्चों को संस्कारवान बनाने का प्रयास करते हैं। संस्कारशाला के दैनिक जागरण परिवार ने उसी दिशा में सराहनीय प्रयास किया है। अपनी संस्कृति के अनुरूप हर बच्चा संस्कारवान बनकर समाजहित में काम करे, हम उसी दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। इसमें अभिभावकों को सहयोग करना चाहिए।

-सीमारानी श्रीवास्तव, प्रधानाचार्य बीबीएस इंटर कॉलेज

-----------

दैनिक जागरण संस्कारशाला के जरिए समाज को सही दिशा में आगे बढ़ने के लिए प्रेरित कर रहा है। मेरा मानना है कि बच्चों को संस्कारवान बनाने की शुरुआत घर से होनी चाहिए। हम स्कूल में उन्हें सही राह दिखाएंगे। शिक्षक व अभिभावक मिलकर ही बच्चे का भविष्य उज्ज्वल बनाने में महत्वपूर्ण योगदान दे सकते हैं।

-प्रतिभा शुक्ला, शिक्षिका महाप्रभु पब्लिक स्कूल

---------

जिस प्रकार कुम्हार मिट्टी के घड़े को सही आकार देने के लिए अंदर और बाहर हाथ लगाता है, उसी प्रकार अभिभावक व शिक्षक मिलकर बच्चे का भविष्य संवारते हैं। अगर दोनों में एक ने ढील बरती या लापरवाही की तो बच्चे की दिशा भटक सकती है। संस्कारशाला की यही सीख है।

-सुष्मिता कानूनगो, प्रधानाचार्य महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर

--------------

पुरस्कार पाकर खिले चेहरे

संस्कारशाला में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले छात्र-छात्राओं को जब पुरस्कृत किया गया तो उनका चेहरा खुशी से खिल गया। तालियां की गड़गड़ाहट के बीच आत्मविश्वास भरे कदमों में हर विजेता पुरस्कार लेने मंच पर पहुंचा। मौजूद लोग भी विजेताओं का हौसला बढ़ाते रहे।

----------------

17 हजार ने किया प्रतिभाग

संस्कारशाला परीक्षा में शामिल होने के लिए शहर के 23 हजार छात्र-छात्राओं ने पंजीकरण कराया। दस दिसंबर 2013 को 13 विद्यालयों में हुई परीक्षा में 17 हजार शामिल हुए। परीक्षा तीन वर्गो में आयोजित की गई। पहले वर्ग में कक्षा तीन से पांच तक के बच्चे शामिल हुए। दूसरे वर्ग में कक्षा पांच से आठ तक के जबकि तीसरे वर्ग की परीक्षा में कक्षा नौ से 12 तक के छात्र-छात्राओं ने भाग लिया। बच्चों ने संस्कार को लेकर अपनी भावनाओं को शब्दों में खूबसूरती से पिरोया। बच्चों द्वारा दिए गए उत्तरों की गहनता से पड़ताल करने के बाद विजेताओं का चयन हुआ।

---------

इन्हें मिला पुरस्कार

वर्ग एक- कक्षा तीन से पांच तक

-सत्यांशी, एपीएस प्रथम

-ऋतिका सिंह, बीबीएस इंटर कॉलेज द्वितीय

-आदित्य भट्ट, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर गंगा गुरुकुलम तृतीय

----------------

सांत्वना पुरस्कार

-आयुष्मान राय, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर

-मनस्वी अग्रवाल, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर

-तनय शुक्ल, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर

-----

वर्ग दो- कक्षा छह से आठ तक

-आशीष पटेल, विष्णु भगवान पब्लिक स्कूल प्रथम

-अंशिका गुप्ता, एमवी कांवेंट इंटर कॉलेज द्वितीय

-विनीत मौर्य, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर गंगा गुरुकुलम तृतीय

-------------

सांत्वना पुरस्कार

-साकेत मनियार, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर

-मीनी शर्मा, एपीएस

-दिव्या सिंह, बीबीएस इंटर कॉलेज

-------

वर्ग तीन- कक्षा नौ से 12 तक

-अभिनव तिवारी, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर प्रथम

-अग्रिमा केसरी, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर द्वितीय

-यांती पटेल, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर तृतीय

--------------

सांत्वना पुरस्कार

-उत्कर्ष त्रिपाठी, बीबीएस इंटर कॉलेज

-सृष्टि सिंह, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर

-सृष्टि, महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर

-जगत तारन गोल्डन जुबली की छात्रा अदितीराज को स्कैपबुक पुरस्कार से सम्मानित किया गया।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.