नागरिक सुरक्षा से निष्क्रिय सदस्यों की होगी छुट्टी
जागरण संवाददाता, आगरा : नागरिक सुरक्षा के संयुक्त निदेशक व पुलिस महानिरीक्षक अमिताभ ठाकुर का कहना है कि निष्क्रिय सदस्यों की छुट्टी होगी। ऐसे सदस्यों को चिन्हित करने के आदेश दिए गए हैं, जबकि नागरिक सुरक्षा में राजनीतिक लोग और माफियाओं की एंट्री नहीं होगी। सभी वार्डन की जांच एलआइयू से कराई जाएगी।
मंगलवार को संयुक्त निदेशक ने विभागीय अफसरों के साथ कलक्ट्रेट सभागार में बैठक की। पत्रकारों से बातचीत में अमिताभ ठाकुर ने कहा कि युवाओं को नागरिक सुरक्षा से जोड़ने का विशेष अभियान शुरू किया जा रहा है। जिसे देखते हुए सोशल मीडिया पर विभाग ने प्रचार शुरू किया है। फेसबुक और ट्विटर एकाउंट बनाया गया है। उन्होंने कहा कि वार्डन के नाम और मोबाइल नंबर थानों पर अंकित किए जाएंगे। जबकि वार्डन को अब ट्रेनिंग दी जाएगी। यह ट्रेनिंग सप्ताह भर की होगी। इसके लिए लखनऊ आने की जरूरत नहीं पड़ेगी, बल्कि स्थानीय स्तर पर मास्टर ट्रेनर आएंगे और ट्रेनिंग देंगे। उन्होंने कहा कि मानदेय को 31 रुपये से बढ़ाकर 350 रुपये कर दिया गया है। वहीं अब नागरिक सुरक्षा के सदस्यों को बॉडी प्रोटेक्टर और हेलमेट दिए जाएंगे। साथ ही जल्द ही सराहनीय कार्य करने वाले सदस्यों को सम्मानित भी किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अब डीएम के साथ एसएसपी भी नागरिक सुरक्षा के नोडल अफसर होंगे, इसका आदेश जारी हो गया है। बैठक में मुख्य वार्डन डॉ. अशोक रैना सहित अन्य मौजूद रहे।
दो चौराहों को गोद लेगा नागरिक सुरक्षा
संयुक्त निदेशक ने कहा कि भगवान टाकीज और सेंट जोंस चौराहे को नागरिक सुरक्षा गोद लेगा। इन चौराहों पर सौंदर्यीकरण का कार्य कराया जाएगा।
क्यों नहीं बन सकता आइपीएस का संघ
पत्रकारों से बातचीत में पुलिस महानिरीक्षक अमिताभ ठाकुर ने कहा कि आइपीएस और पीपीएस अफसरों के संघ बनने पर जोर दिया। संघ में अफसरों के अलावा सिपाहियों को भी शामिल किया जाए। उन्होंने कहा कि संघ को लेकर हाईकोर्ट में केस विचाराधीन है।