Youtube से पैसे कमाने की सोच रहे हैं तो हो सकते हैं निराश, पॉलिसी में हुआ बदलाव
यूट्यूब प्रोडक्ट मैनेजमेंट के वाइस प्रेसिडेंट एरियल बार्डिन ने एक ब्लॉग पोस्ट में कहा, "10,000 व्यूज थ्रेशोल्ड (लिमिट) रखने के साथ ही हम यह भी सुनिश्चित करेंगे कि नए और महत्वकांक्षी यूजर्स पर खराब असर न पड़े
नई दिल्ली। यूट्यूब ने अपनी एडवर्टाइजमेंट पॉलिसी में बड़े बदलाव किए हैं। अब उन चैनल्स पर विज्ञापन नहीं दिखाए जाएंगे, जिनके व्यूज 10,000 से कम हैं। पायरेटेड वीडियो के जरिए पैसे कमाने वाले यूजर्स को रोकने के लिए कंपनी ने यह कदम उठाया है। अल्फाबेट इंक की यूट्यूब ने गुरुवार को कहा कि जैसे ही चैनल 10,000 व्यूज की लिमिट पार कर लेगा, उसके बाद कंटेंट का रिव्यू किया जाएगा और विज्ञापन लगाए जाएंगे। हालांकि, यह पॉलिसी पहले से मौजूद पुराने चैनल्स पर लागू नहीं होगी।
यूट्यूब प्रोडक्ट मैनेजमेंट के वाइस प्रेसिडेंट एरियल बार्डिन ने एक ब्लॉग पोस्ट में कहा, "10,000 व्यूज थ्रेशोल्ड (लिमिट) रखने के साथ ही हम यह भी सुनिश्चित करेंगे कि नए और महत्वकांक्षी यूजर्स पर खराब असर न पड़े।" ब्लॉग पोस्ट में यह भी बताया गया है कि यूट्यूब पार्टनर प्रोग्राम के लिए अप्लाई करने वाले यूजर्स का भी रिव्यू किया जाएगा।
यूट्यूब ने ऐसा क्यों किया:
यूट्यूब के पार्टनरशिप प्रोग्राम की वजह से दुनिया भर में लोगों ने अपने वीडियो अपलोड करने शुरु कर दिए हैं| इन्हींं के बीच कुछ ऐसे लोग भी थे, जिन्होंने दूसरों के वीडियो अपने चैनल पर अपलोड करना शुरु कर दिए थे| कभी-कभी ऐसे वीडियो मिलियन तक का आंकड़ा भी पार कर लेते थे। इस तरह के लोगों से निपटने के लिए यूट्यूब ने अपने पार्टनरशिप प्रोग्राम में बदलाव किया है।
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