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केदारनाथ यात्रा में होंगे अब पांच पड़ाव

उत्तराखंड के चारधामों में से एक केदारनाथ की यात्रा के लिए अब सोनप्रयाग से केदारनाथ धाम तक पहुंचने को यात्रियों को 19 किमी की दूरी तय करनी पड़ेगी। इस पैदल रूट पर यात्रियों के लिए पांच पड़ाव निर्धारित किए गए हैं, जहां विश्राम स्थलों का संचालन गढ़वाल मंडल विकास निगम और नेहरू पर्वतारोहण संस्थान करेंगे। बता दें कि पिछले

By Edited By: Published: Fri, 18 Apr 2014 02:40 PM (IST)Updated: Fri, 18 Apr 2014 03:03 PM (IST)
केदारनाथ यात्रा में होंगे अब पांच पड़ाव

देहरादून। उत्तराखंड के चारधामों में से एक केदारनाथ की यात्रा के लिए अब सोनप्रयाग से केदारनाथ धाम तक पहुंचने को यात्रियों को 19 किमी की दूरी तय करनी पड़ेगी। इस पैदल रूट पर यात्रियों के लिए पांच पड़ाव निर्धारित किए गए हैं, जहां विश्राम स्थलों का संचालन गढ़वाल मंडल विकास निगम और नेहरू पर्वतारोहण संस्थान करेंगे। बता दें कि पिछले वर्ष आपदा में केदारनाथ धाम को जोड़ने वाला 13 किमी का पैदल रूट ध्वस्त हो गया था। अब 19 किमी का नया रुट तैयार किया गया है।

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उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद के मुख्यालय में पर्यटन मंत्री अमृता रावत ने चारधाम एवं हेमकुंड साहिब यात्रा-2014 के संचालन की समीक्षा की। इस दरमियान बताया गया कि सोनप्रयाग से करीब दो किमी आगे तक सड़क बन चुकी है, जहां से केदारनाथ धाम के लिए यात्रा शुरू होगी। 19 किमी की इस यात्र के दौरान गौरीकुंड, जंगलचट्टी, भीमबली, लैंचोली व केदारनाथ पांच पड़ाव होंगे।

इस अवसर पर चारधामों गंगोत्री, यमुनोत्री, केदारनाथ व बदरीनाथ के मागरें को 30 अप्रैल तक दुरुस्त करने के निर्देश दिए गए। बीआरओ की ओर से बताया गया कि रुद्रप्रयाग से केदारनाथ व बदरीनाथ मागरें पर मरम्मत कार्य इस माह के अंत तक पूरा कर लिया जागा। हेमकुंड यात्रा की समीक्षा में बताया गया कि गोविंदघाट से हेमकुंड यात्रा के लिए पुल स्थान के लिए 15 मई की अंतिम तिथि निर्धारित की गई।

पर्यटन मंत्री ने सभी विभागीय अधिकारियों को चारधाम और हेमकुंड साहिब यात्रा से जुड़ी व्यवस्थाओं को जल्द पूर्ण कराकर यात्रा को सफलतापूर्वक संचालित करने के निर्देश दिए। बैठक में पर्यटन सचिव उमाकांत पंवार, आयुक्त गढ़वाल सीएस नपलच्याल समेत विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद थे।

यात्री वाहनों के ऋषिकेश, हरिद्वार समेत अन्य स्थानों पर राज्य के प्रवेश मागरें पर बनाए जाएंगे ग्रीन कार्ड।

हरिद्वार, ऋषिकेश, नारसन, भद्रकाली, दोबाटा के अतिरिक्त चारों धामों में होगा यात्रियों का पंजीकरण। चार मोबाइल पंजीकरण इकाइयां भी करेंगी कार्य।

चारों धामों के कपाट खुलने से पहले ऊर्जा निगम पूर्ण करेगा विद्युत व्यवस्था।

यात्रा के दौरान खाद्य सामग्री, मिट्टी तेल, गैस आदि की होगी पर्याप्त व्यवस्था।

सोनप्रयाग-गौरीकुंड-केदारनाथ ट्रैक पर होगी प्राथमिक उपचार, ऑक्सीजन सिलेंडर की उचित व्यवस्था।

केदारनाथ पैदल मार्ग पर डोली की दरें निर्धारित, प्री-पेड आधार होगी संचालित।

प्रत्येक 10 किमी पर पुलिस के एक बीट कांस्टेबल की रहेगी तैनाती।

केदारनाथ के लिए फाटा के अलावा श्रीनगर एवं गुलाबराय (रुद्रप्रयाग) से हेलीकॉप्टर सेवा प्रांरभ करने का प्रस्ताव 25 अप्रैल तक होगा फैसला।


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