यमुना पार को भी रमणीक बनाएंगे घाटों की कतार
कल्पना करिए कि यमुना पार भी घाटों की कतारें हों। तंग गलियों में रेंग- रेंग कर चलने के बजाए कार फर्राटे भरते हुए यमुना के उस पार पहुंचे। पार्किंग के लिए खुली जगह मिले। इसके बाद सुकून से यमुना में स्नान और ध्यान करिए। केंद्रीय जल संसाधन मंत्री उमा भारती ने यमुना के सुंदरीकरण और शुद्धीकरण को लेकर जितनी दि
मथुरा। कल्पना करिए कि यमुना पार भी घाटों की कतारें हों। तंग गलियों में रेंग- रेंग कर चलने के बजाए कार फर्राटे भरते हुए यमुना के उस पार पहुंचे। पार्किंग के लिए खुली जगह मिले। इसके बाद सुकून से यमुना में स्नान और ध्यान करिए।
केंद्रीय जल संसाधन मंत्री उमा भारती ने यमुना के सुंदरीकरण और शुद्धीकरण को लेकर जितनी दिलचस्पी दिखाई है, उससे उत्साहित होकर प्रशासन ने भी यमुना पार घाटों की कतार बनाने के लिए प्रस्ताव की तैयारी शुरू कर दी है। केंद्रीय जल संसाधन मंत्री उमा भारती मंगलवार को अचानक विश्राम घाट आईं थीं। घाटों और एसटीपी का निरीक्षण करने के बाद वृंदावन में बैठक के दौरान उन्होंने यमुना की हालत पर चिंता जताई थी। उन्होंने जिलाधिकारी बी. चंद्रकला को यमुना स्वच्छता और घाटों के सुंदरीकरण को लेकर प्राइवेट एजेंसी से सर्वे कराने की जानकारी दी थी।
केंद्रीय मंत्री की मंशा देखते हुए जिलाधिकारी ने यमुना स्वच्छता और घाटों के सुंदरीकरण के प्रस्ताव तैयार कराने की शुरुआत की है। उनकी योजना है कि यमुना पार भी घाट बनें। इससे न केवल यमुना का स्वरूप निखरेगा, बल्कि श्रद्धालुओं को भीड़भाड़ वाली तंग गलियों और पार्किंग की दिक्कत नहीं रहेगी। उन्होंने विप्रा को प्रस्ताव बनाने की जिम्मेदारी दी है। जिलाधिकारी बी. चंद्रकला का कहना है कि वे इस प्रस्ताव केंद्रीय मंत्री उमा भारती को सौपेंगी। ऐसा होने पर यमुना महाआरती का आयोजन भी संभव हो सकेगा।