Move to Jagran APP

होली के दिन इन मंत्रों का जाप व ये उपाय हैं बेहद फलदायक

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार फाल्गुन मास की पूर्णिमा यानी की होली के दिन किए गए उपाय बहुत ही जल्दी शुभ फल प्रदान करते हैं।

By Preeti jhaEdited By: Published: Mon, 06 Mar 2017 03:59 PM (IST)Updated: Tue, 07 Mar 2017 09:14 AM (IST)
होली के दिन इन मंत्रों का जाप व ये उपाय हैं बेहद फलदायक
होली के दिन इन मंत्रों का जाप व ये उपाय हैं बेहद फलदायक
राग-रंग का पर्व होली की तैयारियां शुरू हो गई हैं। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार फाल्गुन मास की पूर्णिमा यानी की होली के दिन किए गए उपाय बहुत ही जल्दी शुभ फल प्रदान करते हैं। आज हम आपको होली पर किए जाने वाले कुछ साधारण उपाय बता रहे हैं। ये उपाय इस प्रकार हैं-
धन की कमी 
होली की रात चंद्रमा के उदय होने के बाद अपने घर की छत पर या खुली जगह, जहां से चांद नजर आए, वहां खड़े हो जाएं। फिर चंद्रमा का स्मरण करते हुए चांदी की प्लेट में सूखे छुहारे तथा कुछ मखाने रखकर शुद्ध घी के दीपक के साथ धूप एवं अगरबत्ती अर्पित करें। अब दूध से चंद्रमा को अर्घ्य दें। अर्घ्य के बाद सफेद मिठाई तथा केसर मिश्रित साबूदाने की खीर अर्पित करें। चंद्रमा से समृद्धि प्रदान करने का निवेदन करें। बाद में प्रसाद और मखानों को बच्चों में बांट दें। फिर लगातार आने वाली प्रत्येक पूर्णिमा की रात चंद्रमा को दूध का अर्घ्य दें। कुछ ही दिनों में आप महसूस करेंगे कि आर्थिक संकट दूर होकर समृद्धि निरंतर बढ़ रही है।
ग्रहों की शांति 
होली की रात उत्तर दिशा में बाजोट (पटिए) पर सफेद कपड़ा बिछाकर उस पर मूंग, चने की दाल, चावल, गेहूं, मसूर, काले उड़द एवं तिल की ढेरी बनाएं। अब उस पर नवग्रह यंत्र स्थापित करें। उस पर केसर का तिलक करें, घी का दीपक लगाएं एवं नीचे लिखे मंत्र का जाप करें। जाप स्फटिक की माला से करें। जाप पूरा होने पर यंत्र को पूजा स्थान पर स्थापित करें, ग्रह अनुकूल होने लगेंगे।
 मंत्र- ब्रह्मा मुरारी स्त्रीपुरान्तकारी भानु शशि भूमि-सुतो बुधश्च।
गुरुश्च शुक्र शनि राहु केतव: सर्वे ग्रहा शांति करा भवंतु।।
व्यापार का उपाय
एकाक्षी नारियल को लाल कपड़े में गेहूं के आसन पर स्थापित करें और सिंदूर का तिलक करें। अब मूंगे की माला से नीचे लिखे मंत्र का जाप करें। 21 माला जाप होने पर इस पोटली को दुकान में ऐसे स्थान पर टांग दें, जहां ग्राहकों की नजर इस पर पड़ती रहे। इससे व्यापार में सफलता मिलने के योग बन सकते हैं।
मंत्र- ऊं श्रीं श्रीं श्रीं परम सिद्धि व्यापार वृद्धि नम:।
होलिका दहन से जुड़ा उपाय
होलिका दहन से पूर्व जब गड्ढा खोदें, तो सबसे पहले उसमें थोड़ी चांदी, पीतल व लोहा दबा दें। यह तीनों धातु सिर्फ इतनी मात्रा में होनी चाहिए, जिससे आपकी मध्यमा उंगली के नाप का छल्ला बन सके। इसके बाद विधि-विधान से दाण्डा रोपे। जब आप होलिका पूजन को जाएं, तो पान के एक पत्ते पर कपूर, थोड़ी-सी हवन सामग्री, शुद्ध घी में डुबोया लौंग का जोड़ा तथा बताशे रखें।
  
धन लाभ उपाय
दूसरे पान के पत्ते से उस पत्ते को ढक दें और 7 बार होलिका की परिक्रमा करते हुए ऊं नमो भगवते वासुदेवाय मंत्र का जाप करें। परिक्रमा समाप्त होने पर सारी सामग्री होलिका में अर्पित कर दें तथा पूजन के बाद प्रणाम करके घर वापस आ जाएं। अगले दिन पान के पत्ते वाली सारी नई सामग्री ले जाकर पुन: यही क्रिया करें। जो धातुएं आपने दबाई हैं, उनको निकाल लाएं।
फिर किसी सुनार से तीनों धातुओं को मिलाकर अपनी मध्यमा उंगली के माप का छल्ला बनवा लें। 15 दिन बाद आने वाले शुक्ल पक्ष के गुरुवार को छल्ला धारण कर लें। इस उपाय से धन लाभ के योग बन सकते हैं।
 
शीघ्र विवाह के लिए
होली के दिन सुबह एक साबूत पान पर साबूत सुपारी एवं हल्दी की गांठ शिवलिंग पर चढ़ाएं तथा पीछे पलटे बगैर अपने घर आ जाएं। यही प्रयोग अगले दिन भी करें। जल्दी ही आपके विवाह के योग बन सकते हैं।
रोग नाश के लिए उपाय
अगर आप किसी बीमारी से पीडि़त हैं, तो इसके लिए भी होली की रात को खास उपाय करने से आपकी बीमारी दूर हो सकती है। होली की रात आप नीचे लिखे मंत्र का जाप तुलसी की माला से करें।
मंत्र- ऊं नमो भगवते रुद्राय मृतार्क मध्ये संस्थिताय मम शरीरं अमृतं कुरु कुरु स्वाहा
होलिका दहन के लिए शुभ मुहूर्त 
होलिका दहन के लिए शुभ मुहूर्त सिर्फ आधे घंटे का है। क्योंकि 12 मार्च को रात साढ़े आठ बजे तक भद्रा की छाया रहेगी। भद्राकाल में होलिका दहन अशुभ माना जाता है। ज्योतिषाचार्य के अनुसार दिन में होलिका का पूजन कर सकते हैं। 
ज्योतिषाचार्य ने बताया कि पूर्णिमा 11 मार्च को रात सवा आठ बजे शुरू हो जाएगी। अगले दिन आठ बजकर 25 मिनट तक भद्राकाल होगा। ज्योतिषाचार्य ने बताया कि होलिका दहन के लिए चौघड़िया का अमृतकाल साढ़े आठ से नौ बजे तक का है। हालांकि इसके बाद भी दहन कर सकते हैं। होलाष्टक पांच मार्च से शुरू हो गया है। अगले आठ दिनों विवाह, गृह प्रवेश समेत तमाम मंगल कार्य कतई नहीं करने चाहिएं। 
ऐसे करें पूजा 
हल्दी की गांठ, उपले, फलों, सब्जी आदि की माला बनाकर धारण करें। होलिका दहन से पूर्व नारियल, सुपारी, जायफल और आठ गोमति चक्र लेकर गुलाबी रंग से होलिका का पूजन करें। इसके बाद होलिका के चारों तरफ आठ दीये जलाएं और सभी सामग्री को होलिका के ऊपर अर्पण कर दें।

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.