वसुंधरा विरोधी दिग्गज नेता तिवाड़ी को पार्टी से निकालने की तैयारी
मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के कट्टर विरोधी भाजपा के वरिष्ठ नेता और विधायक घनश्याम तिवाड़ी को पार्टी से निकालने की तैयारी हो गई है।
जयपुर, जागरण संवाद केन्द्र। राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के कट्टर विरोधी भाजपा के वरिष्ठ नेता और विधायक घनश्याम तिवाड़ी को पार्टी से निकालने की तैयारी हो गई है। वसुंधरा राजे और प्रदेश अध्यक्ष अशोक परनामी की शिकायत पर केन्द्रीय अनुशासन समिति ने अनुशासनहीनता का नोटिस देकर दस दिन में जवाब मांगा है। राजस्थान से जुड़े भाजपा के एक राष्ट्रीय पदाधिकारी का कहना है कि तिवाड़ी को अगले कुछ दिनों में पार्टी से निकाल दिया जाएगा। जनसंघ के समय से सक्रिय रहे तिवाड़ी पूर्व उपराष्ट्रपति स्व.भैरोंसिंह शेखावत और भाजपा के दिग्गज नेता लालकृष्ण आड़वाणी के साथ राजस्थान में जनसंघ और फिर भाजपा के विस्तार के लिए काम कर चुके है।
तिवाड़ी पिछली वसुंधरा सरकार के केबिनेट मंत्री थे,लेकिन पिछले करीब दस वर्षों से वे वसुंधरा विरोधी खेमे की अगुवाई कर रहे है। वसुंधरा राजे सरकार और प्रदेश अध्यक्ष अशोक परनामी के खिलाफ वे सार्वजनिक रूप से टिप्पणी करते रहे है,विधानसभा में भी उन्होंने विभिन्न मसलों पर सरकार को कटघरे में खड़ा करने का प्रयास किया। तिवाड़ी ने एक वर्ष पूर्व राज्य में भाजपा संगठन के समानांतर एक संगठन 'दीनदयाल वाहिनी' तैयार कर प्रत्येक विधानसभा क्षेत्रवार टीम तैयार कर रखी है।
तिवाड़ी ने वसुंधरा विरोधी नेताओं को एकजुट करने का काम भी किया। तिवाड़ी नेे वसुंधरा विरोधी जनसंघ और भाजपा के नेताओं को एकजुट कर आगामी विधानसभा चुनाव में दीनदयाल वाहिनी के बैनर तले प्रत्याशी खड़े करने की भी योजना बनाई है। सीएम वसुंधरा राजे और प्रदेश अध्यक्ष अशोक परनामी ने तिवाड़ी से सम्बन्धित विभिन्न शिकायतों की कॉपी राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह,राज्य प्रभारी वी.सतीश और अनुशासन समिति के अध्यक्ष गणेशीलाल को सौंपी। इस केन्द्रीय नेतृत्व ने जांच कराकर तिवाड़ी को शनिवार शाम अनुशासनहीनता नोटिस भेजा। हालांकि तिवाड़ी ने रविवार को बताया कि मुझे अभी तक नोटिस नहीं मिला,वहीं प्रदेश अध्यक्ष का कहना है कि हमें नोटिस भेजे जाने की सूचना मिल गई है।
भाजपा संगठन के संविधान की धारा 25 च के तहत अनुशासनहीनता का नोटिस दिया है। जिसमें तिवाड़ी पर लगातार दो वर्षों से पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने,पार्टी और भाजपा विधायक दल की बैठकों में अनुपस्थित रहने,विपक्षी नेताओं के साथ मंच साझा करने और समानांतर राजनीतिक पार्टी खड़ी करने के आरोप लगाए गए है। इधर सीएम समर्थक कुछ नेता अगले सप्ताह तक दिल्ली जाकर तिवाड़ी को लेकर कुछ ओर शिकायतें केन्द्रीय नेतृत्व से करेंगे।