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सरकार और राजपरिवार के बीच सुलह,खुला राजमहल पैलेस का दरवाजा

सरकार और जयपुर के पूर्व राजघराने के बीच सुलह हो गई है। जयपुर विकास प्राधिकरण के अधिकारियों ने राजमहल पैलेस के दरवाजे को खोल दिया गया है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Mon, 05 Sep 2016 04:15 AM (IST)Updated: Mon, 05 Sep 2016 04:30 AM (IST)
सरकार और राजपरिवार के बीच सुलह,खुला राजमहल पैलेस का दरवाजा

जयपुर, जागरण संवाद केंद्र। राजस्थान की वसुंधरा राजे सरकार और जयपुर के पूर्व राजघराने के बीच सुलह हो गई है। करीब एक सप्ताह पूर्व पुलिस अधिकारियों के भारी बल के साथ जयपुर विकास प्राधिकरण के अधिकारियों ने राजमहल पैलेस के जिस दरवाजे को सील कर गार्डों की फौज तैनात की थी, उसे खोल दिया गया है।

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राजस्थान की जनता के सामने यह किसी पहेली से कम नहीं है की 24 अगस्त को आनन-फानन में राजमहल के दरवाजे क्यों सीज किए गए और रविवार सुबह होने से पहले सरकार ने दरवाजे क्यों खोल दिए। इससे पहले शनिवार रात को मुख्यमंत्री निवास में दिल्ली से भेजे गए बीजेपी के केन्द्रीय संगठन मंत्री सौदान सिंह ने मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और पूर्व राजघराने की राजमाता पद्मिनी देवी के बीच सीधी बातचीत करवाई उसके बाद मुख्यमंत्री निवास में ही राजमाता पद्मिनी देवी से ही बयान दिलाया गया कि वह वसुंधरा राजे से मिलकर संतुष्टï हैं और उन्हें उम्मीद है कि मुख्यमंत्री उनकी शिकायत पर कार्रवाई करेंगी। शनिवार को ही राजपरिवार की सदस्य दीया कुमारी अपने वकील के साथ दस्तावेज लेकर सौदान सिंह के पास अपना पक्ष रखने पहुंची और फिर सीएम ने सरकार का पक्ष रखा। इसके बाद लोगों ने देखा सुबह राजमहल का दरवाजा खुला हुआ था।

दरअसल राजमहल पैलेस को तोडऩे को लेकर राजघराना और वसुंधरा राजे में छिड़े जिस विवाद को बीजेपी कानूनी मामला बताकर अपना पल्ला झाड़ रही थी, उसका सियासी हल निकालने में वह दो दिनों से लगी थी। राजपूतों के आक्रोश और राजमाता की रैली को देखते हुए बीजेपी के केन्द्रीय नेतृत्व ने पार्टी राष्ट्रीय सहसंगठन मंत्री सौदान सिंह को लगाया था। जयपुर पहुंचते ही सौदान सिंह ने शुक्रवार को वसुंधरा राजे और राजकुमारी दीया सिंह को पार्टी दफ्तर में बुलाकर अलग से करीब 6 घंटे बातचीत की।

सूत्रों के अनुसार राजमहल के गेट खोलने पर सहमति तो बन गई थी, मगर वसुंधरा राजे राजघराने के आईएएस अधिकारी शिखर अग्रवाल को हटाने की मांग मानने के लिए तैयार नहीं है। इस बीच राजपूत संगठनों ने जयपुर बंद का एलान कर दिया था। अब बंद की घोषणा वापस ले ली गई।

उल्लेखनीय है कि तीन दिन पूर्व राज्य के स्वायत्त शासन मंत्री राजपाल सिंह शेखावत ने कहा था कि दरवाजे के ताले किसी भी हालत में नहीं खुलेंगे।


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