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गजेन्द्र के अंतिम संस्कार में हर चेहरे पर दर्द, हर आंख से छलके आंसू

नई दिल्ली में आम आदमी पार्टी की रैली के दौरान आत्महत्या करने वाले राजस्थान में दौसा जिले के बांदीकुई के नांगल झामरवाड़ा निवासी किसान गजेन्द्र सिंह की मौत ने परिवार ही नहीं पूरे गांव के लोगों को झकझोर कर रख दिया है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Fri, 24 Apr 2015 01:36 AM (IST)Updated: Fri, 24 Apr 2015 01:39 AM (IST)
गजेन्द्र के अंतिम संस्कार में हर चेहरे पर दर्द, हर आंख से छलके आंसू

जयपुर [नरेन्द्र शर्मा]। नई दिल्ली में आम आदमी पार्टी की रैली के दौरान आत्महत्या करने वाले राजस्थान में दौसा जिले के बांदीकुई के नांगल झामरवाड़ा निवासी किसान गजेन्द्र सिंह की मौत ने परिवार ही नहीं पूरे गांव के लोगों को झकझोर कर रख दिया है। गजेन्द्र सिंह का आज उनके पैतृक गांव नांगल झामरवाड़ा में अंतिम संस्कार कर दिया गया। सुबह जैसे ही एंबुलेंस गजेन्द्र का शव लेकर घर पहुंची तो परिवार के सदस्य बिलख पड़े। पिता बने सिंह तो अपनी सुध खो बैठे हैं। वे कई बार बेहोश हो गए, दोनों बेटियों की स्थिति बड़ी खराब थी, पत्नी तो बुधवार रात से ही कई बार बेहोश हो चुकी थी। शव के अंतिम संस्कार के समय बेटे विनायक का रो-रो कर बुरा हाल हो रहा था, लोग उसे संभाल रहे थे।

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गजेन्द्र की शव यात्रा में बड़ी संख्या में राजनीतिक दलों के नेता और आसपास के गांवों के लोग पहुंचे। राज्य के सामाजिक अधिकारिता एवं न्याय मंत्री अरुण चतुर्वेदी और विधायक अलका गुर्जर सहित भाजपा के एक दर्जन नेताओं के अतिरिक्त पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट, पूर्व केन्द्रीय मंत्री जितेन्द्र सिंह, नमोनारायण मीणा और कांग्रेस प्रवक्ता प्रताप सिंह खाचरियावास गजेन्द्र के अंतिम संस्कार में शामिल हुए।

मृतक गजेन्द्र के परिजनों ने घटना के लिए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जिम्मेदार ठहराया है। परिजनों का कहना है कि एक किसान फांसी लगा रहा था और केजरीवाल भाषण देने में व्यस्त थे, अगर उनका अपना बेटा उनके सामने फांसी लगाता क्या तब भी वह भाषण देते रहते। गजेन्द्र के तीन बच्चे हैं।

ग्रामीणों का कहना है कि सरकार को गजेन्द्र को शहीद का दर्जा देना चाहिए। उसने देश के करोड़ों किसानों के लिए अपनी जान कुर्बान की है।

उल्लेखनीय है कि बुधवार को गजेन्द्र की दो भतीजी का विवाह था,परिवार में शादी के माहौल के चलते दिल्ली एम्बुलेंस में आए गजेन्द्र सिंह के शव को एम्बुलेंस में ही गांव से बाहर रखा गया। शादी के बाद पहले दुल्हन को विदा किया गया, उसके बाद आज शव को घर में लाया गया और अर्थी उठाने की तैयारी शुरू हुई। गांव शादी की खुशियाँ भी नहीं मना पाया था कि शव आने के बाद गांव में मातम छा गया। लोगों ने घरों में चूल्हे तक नहीं जलाए।

दौसा एडीएम की रिपोर्ट, सही थे गजेन्द्र के आर्थिक हालात

इधर, राज्य सरकार ने मृतक गजेन्द्र सिंह के घर की आर्थिक हालत को लेकर जिला कलक्टर से मांगी गई रिपोर्ट में परिवार की स्थिति को सही बताया है। कलेक्टर का चार्ज संभाल रहे एडीएम दौसा कैलाश शर्मा ने बताया कि सरकार को रिपोर्ट भेज दी गई है। मृतक किसान के घर के हालात आर्थिक तंगी के नहीं हैं और उसके खेते में भी नुकसान ज्यादा नहीं हुआ है।

अरविंद के खिलाफ दर्ज हो मामला : कालवी

भाजपा नेता और श्रीराजपूत करणी सेना के प्रधान संरक्षक लोकेन्द्र सिंह कालवी दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उनकी पार्टी के खिलाफ पुलिस में मामला दर्ज करवाएंगे। कालवी ने कहा कि ऐसा लग रहा है कि गजेन्द्र को उकसाया गया था, वो आत्महत्या नहीं कर सकता।

वसुंधरा सरकार ने 4 लाख की आर्थिक सहायता की घोषणा

जिला प्रभारी मंत्री अरुण चतुर्वेदी ने बताया कि किसान की मौत के बाद राज्य सरकार ने परिजनों को सांत्वना देते हुए चार लाख रुपए की आर्थिक सहायता की घोषणा की है। चतुर्वेदी ने कहा कि घटना दुखद है। इधर कांग्रेस प्रदेश महासचिव जी.आर. खटाणा ने बताया कि कांग्रेस की ओर से दो लाख रुपए की आर्थिक सहायता की घोषणा की गई है। साथ ही फसलों के नुकसान को लेकर दुबारा गिरदावरी कराने की भी मांग की है।


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