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Ludhiana News: लुधियाना में ट्रांसपोर्टरों ने तीन घंटे एनएच किया जाम, गर्मी में परेशान होते रहे लोग

Ludhiana News लुधियाना में ट्रांसपोर्टरों ने तीन घंटे एनएच जाम किया। गर्मी में लोग परेशान होते रहे। नई खनन नीति के अनुसार कोई भी व्यक्ति खेतों से मिट्टी का खनन तभी कर पाएगा जब वह पहले खनन विभाग को सूचित कर फीस जमा करेगा।

By Jagran NewsEdited By: Himani SharmaPublished: Tue, 30 May 2023 07:38 AM (IST)Updated: Tue, 30 May 2023 07:38 AM (IST)
Ludhiana News: लुधियाना में ट्रांसपोर्टरों ने तीन घंटे एनएच किया जाम, गर्मी में परेशान होते रहे लोग
लुधियाना में ट्रांसपोर्टरों ने तीन घंटे एनएच किया जाम, गर्मी में परेशान होते रहे लोग

जागरण टीम, लुधियाना/दोराहा : नई खनन नीति के तहत खेतों से मिट्टी निकालने पर भी खनन विभाग को फीस चुकाने के सरकार के निर्णय के विरोध में सोमवार को ट्रांसपोर्टर सड़क पर उतर आए। नई खनन नीति के अनुसार कोई भी व्यक्ति खेतों से मिट्टी का खनन तभी कर पाएगा जब वह पहले खनन विभाग को सूचित कर फीस जमा करेगा। इसके विरोध में ट्रांसपोर्टरों ने सोमवार को दोराहा के पास गुरुद्वारा अतर सिंह के सामने दिल्ली-अमृतसर नेशनल हाईवे को टिप्पर और ट्रैक्टर ट्रालियां लगाकर जाम कर दिया।

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करीब तीन घंटे तक नेशनल हाईवे जाम होने से वाहनों की कई किलोमीटर लंबी लाइनें लग गई। पुलिस ने मौके पर पहुंच कर अन्य रास्तों से वाहनों को निकालने का प्रयास जरूर किया लेकिन वह नाकाफी रहा। लोग कई घंटे जाम में फंसे रहे। धरने पर बैठे ट्रांसपोर्टरों ने कहा कि नई खनन नीति से पहले वह तीन फुट तक मिट्टी बिना किसी फीस के निकाल सकते थे।

अब सरकार उसकी भी फीस वसूल करना चाहती है। 24 अप्रैल को भी इसी जगह उन्होंने धरना लगाया था, जिसके बाद सरकार ने उनकी मिट्टी उठाने की मांग मान ली थी। अब फिर से खनन विभाग के अधिकारियों ने उन्हें परेशान करना शुरू कर दिया है। बाद में साहनेवाल के विधायक हरदीप सिंह मुंडिया धरनास्थल पर पहुंचे और आश्वासन दिया कि वह उनकी मांग को सरकार तक पहुंचाएंगे।

मिट्टी की ट्राली 600 व टिप्पर 1800 रुपये तक हुआ महंगा

प्रदर्शनकारी ट्रांसपोर्टरों ने कहा कि नई नीति से पहले मिट्टी की ट्राली सात से साढ़े सात हजार के बीच बिकती थी। फीस लगने के बाद इसमें करीब 600 रुपये की वृद्धि हो गई है। इसी तरह मिट्टी के टिप्पर की कीमत में अब 1800 रुपये की वृद्धि हो गई है।

पहले नहीं था कोई नियम

खनन विभाग के अभियंता विशाल अरोड़ा का कहना है कि पिछली सरकार के समय मिट्टी के खनन को लेकर कोई नियम नहीं था। कोई भी व्यक्ति दो एकड़ जमीन में तीन फुट गहराई तक मिट्टी निकाल सकता था। करीब दो माह पहले सरकार नई खनन नीति लेकर आई है। अगर रिहायशी एरिया के लिए किसी व्यक्ति को मिट्टी चाहिए तो वह बिना किसी रायल्टी के हाथों से मिट्टी निकाल सकता है।


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