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पंजाब में धार्मिक स्थल किए जा रहे सैनिटाइज, श्रद्धालुओं की होगी थर्मल स्क्रीनिंग

पंजाब में आठ जून से धार्मिक स्थलों को खोलने के मद्देनजर तैयारियां शुरू हो गई हैं। शारीरिक दूरी बनाए रखने के लिए गोल निशान लगाए जाएंगे।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Sun, 31 May 2020 09:43 PM (IST)Updated: Sun, 31 May 2020 09:43 PM (IST)
पंजाब में धार्मिक स्थल किए जा रहे सैनिटाइज, श्रद्धालुओं की होगी थर्मल स्क्रीनिंग
पंजाब में धार्मिक स्थल किए जा रहे सैनिटाइज, श्रद्धालुओं की होगी थर्मल स्क्रीनिंग

जेएनएन, जालंधर। पंजाब में धार्मिक स्थलों को आठ जून से खोलने के मद्देनजर तैयारी शुरू हो गई है। प्रबंधक श्रद्धालुओं के बीच शारीरिक दूरी बनाए रखने के लिए गोल निशान लगाने से लेकर अतिरिक्त सेवादार तैनात करने की व्यवस्था कर रहे हैैं। धार्मिक स्थलों को सैनिटाइज किया जा रहा है। पहुंचने वाले श्रद्धालुओं की थर्मल स्क्रीनिंग के लिए कुछ धार्मिक स्थलों के प्रबंधकों ने व्यवस्था कर ली है, जबकि कुछ ने स्वास्थ्य विभाग को इसके लिए लिखा है।

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श्री हरिमंदिर साहिब में श्रद्धालुओं के बीच रहेगी एक मीटर की दूरी

अमृतसर में श्री हरिमंदिर साहिब में प्रत्येक श्रद्धालु दूसरे श्रद्धालु से एक से डेढ़ मीटर के फासले में रहकर माथा टेकने के लिए पहुंचेगा। परिक्रमा में भी यही नियम लागू रहेगा। लंगर हाल में भी श्रद्धालु सरकार की ओर से तय किए गए शरीरिक दूरी का पालन करते हुए ही लंगर ग्रहण करेंगे। परिक्रमा में प्रवेश करने से पहले प्रत्येक श्रद्धालु की थर्मल स्कैनिंग होगी। प्रत्येक श्रद्धालु के हाथ को सैनिटाइज करने की पूरी व्यवस्था की गई है। शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) के प्रवक्ता कुलविंदर ङ्क्षसह रमदास ने कहा कि एसजीपीसी ने पूरी तैयारियां की हैं। सेहत विभाग और सरकार के निर्देश के मुताबिक शारीरिक दूरी सहित सभी नियमों का पालन होगा।

श्री दुर्ग्याणा मंदिर में एक समय में 50 श्रद्धालुओं का होगा प्रवेश

अमृतसर स्थित श्री दुर्ग्याणा मंदिर में एक समय में 50 श्रद्धालुओं को प्रवेश दिया जाएगा ताकि शारीरिक दूरी बनी रहे। परिसर में जरूरत पड़ी तो गोल साइन भी बनाए जाएंगे। मंदिर में भक्तजनों के लिए सैनिटाइजर की व्यवस्था होगी। मुख्य द्वार पर थर्मल स्कैनिंग होगी। प्रसाद चढ़ाने पर कोई प्रतिबंध नहीं होगा। लंगर की व्यवस्था जारी रहेगी।

पटियाला के श्री काली माता मंदिर में बकरे, मुर्गे व शराब चढ़ाने पर रोक

उत्तर भारत का एतिहासिक श्री काली माता मंदिर में श्रद्धालु बकरा, मुर्गा, शराब अथवा किसी किस्म का प्रसाद नहीं चढ़ा सकेंगे। मंदिर के सुपरवाइजर राजेश वालिया के मुताबिक कोरोना वायरस के कारण इस तरह के बाहरी प्रसाद पर पाबंदी रहेगी। मंदिर में आने के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन और रोजाना आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या निश्चित करने पर भी विचार किया जा रहा है। मंदिर को सैनिटाइज किया गया है। सात जून को फिर सैनिटाइज किया जाएगा। शारीरिक दूरी का पालन करवाने के लिए मंदिर के द्वार से लेकर भवन तक निशान लगाए जाएंगे ताकि भक्त दूरी बनाकर मंदिर मेंं प्रवेश करें। श्रद्धालुओं के लिए टोकन सिस्टम चालू किया जाएगा।

तख्त श्री दमदमा साहिब में निशान बनाने के साथ तैनात होंगे पहरेदार

तख्त श्री दमदमा साहिब के मैनेजर परमजीत सिंह ने बताया कि कोरोना महामारी के मद्देनजर तख्त साहिब पर पुख्ता प्रबंध किए जा रहे हैं। संगत के हाथ साफ करवाने के लिए सैनिटाइजर के प्रबंध के अलावा देग लेने वाली जगह पर शारीरिक दूरी बनाए रखने के लिए एक-एक मीटर की दूरी पर निशानों के साथ-साथ पहरेदार खड़े किए जाएंगे। इसके अलावा सेहत विभाग को श्री दरबार साहिब माथा टेकने के लिए आने वाली संगत की स्क्रीनिंग के लिए लिखा जा रहा है।

गुरुद्वारा श्री फतेहगढ़ साहिब के प्रवेश द्वार पर लगाई सैनिटाइजर मशीनें

गुरुद्वारा श्री फतेहगढ़ साहिब और गुरुद्वारा श्री ज्योति स्वरूप साहिब में संगत के लिए गुरुद्वारा प्रबंधन ने मुख्य प्रवेश द्वार पर सैनिटाइजर मशीनें लगाई हैं। गुरुद्वारा श्री फतेहगढ़ साहिब के प्रबंधक कर्म ङ्क्षसह का कहना है कि गुरुद्वारा साहिब में संगत के लिए सर्कल बनाने का अभी कोई इंतजाम नहीं किया है। जो संगत आती है और आने वाले दिनों में आएगी उन्हें सैनिटाइज करने के लिए मशीनें लगाई हैं।

तख्त श्री केसगढ़ साहिब में भी नियमों का होगा सख्ती से पालन

आनंदपुर साहिब (रूपनगर) में स्थित तख्त श्री केसगढ़ साहिब के मैनेजर भाई जसबीर सिंह का कहना है कि संगत की सुरक्षा के लिए तख्त साहिब में एक गेट से प्रवेश और दूसरे गेट से बाहर जाने का रास्ता होगा। प्रवेश से लेकर माथा टेकने तक शारीरिक दूरी के नियमों का सख्ती से पालन करवाया जाएगा। 


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