बजरी भरा टिप्पर कार पर पलटा, मां व दो बच्चों की मौत
जागरण संवाददाता, जालंधर : रामामंडी की ओर पीएपी गेट के पास बजरी भरा टिप्पर रविवार रात को कार पर पलट ग
जागरण संवाददाता, जालंधर : रामामंडी की ओर पीएपी गेट के पास बजरी भरा टिप्पर रविवार रात को कार पर पलट गया। टिप्पर के चपेट में आई कार चकनाचूर हो गई। हादसे में महिला समेत उसके दोनों बच्चों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि कार चला रहे व्यक्ति किस्मत से बच निकला। करीब डेढ़ घंटे की मशक्कत के बाद पुलिस ने लोगों की मदद से कार से तीनों को बाहर निकाला और जौहल अस्पताल भेजा। पुलिस ने टिप्पर चालक फगवाड़ा के पास माधोपुर निवासी टिंकू पर दर्ज किया है। हादसे के डेढ़ घंटे बाद तक कोई बचाव कार्य शुरू नहीं हो पाया था।
फगवाड़ा में प्रॉपर्टी डीलर का काम करने वाले हरनेक उर्फ मिंटू तलवाड़ ब्यास डेरे में सेवा करने के लिए अक्सर जाते रहते हैं। रविवार को मिंटू अपनी पत्नी हरजोत कौर (45), बेटी एलिस (18) और बेटे पोहल तलवाड़ (16) को लेकर डेरे पर अपनी कार शेवरले क्रूज (पीबी 09 ---) से गए थे। सेवा कर वे करीब रात 9 बजे डेरे से चले थे। रात करीब 9.30 बजे वे पीएपी चौक पार कर पीएपी के पांच नंबर गेट पर पहुंचे ही थे कि आगे चल रहे बजरी भरे टिप्पर (पीबी 08 बीटी 0891) से साइड लेने के लिए हार्न दिया। हादसे के प्रत्यक्षदर्शी नंगल शाला निवासी राजू ने बताया कि टिप्पर ने साइड देने के लिए जैसे ही स्टेयरिंग दूसरी ओर मोड़ा, इतने में टिप्पर अनियंत्रित होकर कार के ऊपर ही पलट गया। धमाके के साथ पलटे टिप्पर की सारी बजरी पूरी सड़क पर बिखर गई। किस्मत से बजरी के बीच से निकले मिंटू को कुछ समझ नहीं आया। लोगों ने उसे बाहर निकाल तत्काल पास के निजी अस्पताल भेज दिया।
काफी मशक्कत के बाद लोगों ने कार से तीनों को बाहर निकाला और बेटी एलिस में सांस की संभावना पर उसे जौहल अस्पताल भेज दिया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया।
पलटे टिप्पर की बजरी में दबी परिवार की चीख
धमाके के साथ कार पर पलटे टिप्पर की हादसे के बाद टनों बजरी कार के ऊपर आ गिरी। मिंटू के मुताबिक बात करते जा रहे परिवार चीख भी ना निकल सकी और सब खत्म हो गया।
तिरछा पलटा टिप्पर, कार चला रहे मिंटू को मामूली खरोंच
किस्मत ही थी कि टिप्पर कार पर इस कदर गिरा कि पूरा परिवार एक साथ चपेट में आया, लेकिन मिंटू की सीट पूरी तरह बची रही। इससे हादसे के बाद मिंटू दरवाजा खोलकर बाहर निकल आया, लेकिन बाहर का मंजर देखकर वह गश खा गया। उसके समझने से पहले लोग उसे अस्पताल के लिए भेज दिया। पीएपी चौक से आगे बढ़ते ही आर्मी गेट तक पूरी रोड पर अंधेरा है। पीएपी गेट के पास जैसे ही हादसा हुआ, टनों बजरी सड़क पर बिखरते ही पीछे आ रही कारों को अचानक ब्रेक लगानी पड़ी। जिससे एक के बाद एक कारें आपस में भी टकराते हुए बचीं।
500 से अधिक लोग राहत में जुटे, डेढ़ घंटे शव निकालने में लगे
हादसे के बाद परिवार को बचाने और कार को बाहर निकालने के लिए आसपास गाड़ियों से बाहर निकलने लगे। पीएपी से पुलिस जवानों के परिवार से लोग आ गए। रामामंडी, कैंट, थाना सात, समेत एडीसीपी वन व टू व डीसीपी नवजोत महल की पूरी पुलिस टीम पहुंच गयी। इस दौरान तीन क्रेनों की मदद व लोगों के हौसले से करीब दो घंटे लगातार मशक्कत के बाद शवों को कार से बाहर निकाला जा सका।
मैं मरना चाहता हूं, छोड़ दो मुझे
हादसे के वक्त कार से बाहर निकले मिंटू को कुछ समझ नहीं आ रहा था। काफी देर सोचने के बाद उसे अचानक परिवार का ख्याल आया। इसके बाद वह बदहवास होकर अस्पताल में ले चलने और परिवार के बारे में जानने के लिए बेचैन हो गया। उसे जैसे ही पत्नी व बच्चों के मरने का पता चला। उसने खुद भी मरने के लिए चीखने लगा। लोगों ने उसे समझाकर शांत कराया।
पीएपी से लेकर रामा मंडी चौक तक लंबा जाम
हादसे से एक ओर का हाइवे पूरी तरह बंद हो गया, वहीं दूसरी ओर के वाहनों के लिए जगह न होने से वाहनों की लंबी कतारें लग गयी। हाल यह हो गया कि बीएसएफ चौक से शुरू होकर जाम रामा मंडी चौक तक पहुंच गया। इस पर कार को निकालने के बाद ट्रैफिक पुलिस ने आधे घंटे की मशक्कत के बाद स्थिति पर काबू पाया।